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JAIPUR. राजस्थान में एक फर्जी महिला सब-इंस्पेक्टर का खुलासा हुआ है। जहां एक महिला ने बिना भर्ती परिक्षा पास किए दो साल पुलिस ट्रेनिंग सेंटर में बिता दिए और किसी को भनक तक नहीं लगी। ये फर्जी सब-इंस्पेक्टर एडीजी के साथ टेनिस खेलने से लेकर डीजीपी के बेटी की शादी में तक शरीक हुई। एक सब-इंस्पेक्टर को धमकाने के बाद इस फर्जीवाड़े का खुलासा हुआ है। शास्त्री नगर थाने में महिला के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया गया है। हालांकि, आरोपी महिला फिलहाल फरार है।
सब-इंस्पेक्टर भर्ती परिक्षा पास नहीं कर सकी थी महिला
फर्जी महिला सब-इंस्पेक्टर मोना बुगालिया नागौर जिले के निम्बा के बास की रहने वाली है। वह सब-इंस्पेक्टर भर्ती परीक्षा की तैयारी कर रही थी। तीन साल पहले मोना इस परिक्षा को पास नहीं कर सकी। लेकिन, मोना ने सोशल मीडिया और अपने गांव में खुद के सब-इंस्पेक्टर में चयनित होने की खबर फैला दी। मोना के पिता खेती करते थे और बाद में ट्रक ड्राइवर बन गए थे।
मोना ने दो बैच में ट्रेनिंग की
राजस्थान पुलिस एकेडमी में चयनित सब-इंस्पेक्टर के बैच 48 और स्पोर्ट्स कोटे की ट्रेनिंग साथ में दी गई थी। उस दौरान आरपीए में दोनों बैच में कुल 207 कैंडिडेट्स सब-इंस्पेक्टर की ट्रेनिंग हुई थी। मोना ने दोनों बैच में ट्रेनिंग ली थी। बैच 48 की ट्रेनिंग 9 जुलाई 2021 से शुरू हुई थी। मोना बहुत चालाकी से चीजों को डील करती थी। जब बैच 48 के कैंडिडेट्स पूछते तो वो खुद को स्पोट्र्स कोटे से बताती और स्पोर्ट्स कोटे वाले पूछते तो खुद को बैच 48 की सब-इंस्पेक्टर बताती थी। आरपीए में कई बैच के सब-इंस्पेक्टर ट्रेनिंग कर रहे थे, जिसका फायदा मोना ने उठाया। वो कई बार खुद को आईबी की सब-इंस्पेक्टर भी बताती थी।
सोशल मीडिया पर छाई मोना
मोना बुगालिया सोशल मीडिया पर वर्दी पहने फोटो और वीडियो अपलोड करती थी। मोना को कई कोचिंग सेंटर मोटिवेशन स्पीच के लिए बुलाते थे। कोचिंग सेंटर्स में वह अपने स्ट्रगल की कहानियां सुनाती थी। मोना ने अपनी ट्रेनिंग के दौरान कई पुलिस अधिकारियों से जान पहचान बना ली। मोना एडीजी रैंक अधिकारियों के साथ टेनिस खेलती थी। पिछले साल हुई पूर्व डीजीपी एमएल लाठर की बेटी की शादी में भी शामिल हुई थी। मोना को मंदिर में बीआईपी ट्रीटमेंट मिलता था। मोना को कई बार गांवो के कार्यक्रमों में गेस्ट के रूप में भी बुलाया जाता था। हालांकि, मोना का एक्स अकांउट अब बंद हो चुका है।
अभी तक क्यों नहीं हो सका खुलासा?
मोना कभी भी इंडोर एक्टिविटी में पार्टिसिपेट नहीं करती थी। क्योंकि, वहां पर कैंडिडेट्स की अटेंडेंस लगती थी। वह आरपीए में फैमिली क्वार्टर गेट से प्रवेश करती थी। मोना दो यूनिफॉर्म पहना करती थी। पहली इंडोर के लिए सब-इंस्पेक्टर को पुलिस की यूनिफॉर्म और आउटडोर के लिए सब इंस्पेक्टर को वाइट ड्रेस पहनी होती थी।
साल 2021 से 2023 से हाथ नहीं आई फर्जी थानेदार
बता दें कि बैच 48 की बेसिक और फील्ड ट्रेनिंग खत्म हो चुकी थी। सभी सब-इंस्पेक्टर 11 से 23 सितंबर 2023 तक सैंडविच कोर्स की ट्रेनिंग के लिए वापस आरपीए आए थे। इसके बाद सभी सब-इंस्पेक्टर को अब जॉइनिंग मिलने वाली थी। मोना भी सैंडविच कोर्स की ट्रेनिंग के लिए वापस आरपीए आई थी। बैच 48 के सब-इंस्पेक्टर ने वॉट्सऐप पर एक ग्रुप बना रखा था। इस ग्रुप पर सभी के बीच कुछ बातचीत चल रही थी, तभी मोना की दूसरे सब-इंस्पेक्टर से बहस हो गई। मोना ने सब-इंस्पेक्टर और उसके साथियों को धमकी दी कि उन्हें वो आरपीए ट्रेनिंग सेंटर से बाहर निकलवा देगी। बहस के बाद सब-इंस्पेक्टर ने मोना की जांच शुरू की। सब-इंस्पेक्टर सभी बैच के कैंडिडेट्स की लिस्ट ली और उनमें मोना का नाम ढूंढने लगे। मोना का नाम किसी भी बैच में नहीं था। सब-इंस्पेक्टर ने आरपीए के अधिकारियों से मोना की शिकायत की, शिकायत के बाद जांच हुई तो मोना के फर्जी सब इंसपेक्टर बनकर ट्रेनिंग करने के बारे में पता चला।
थाने में मामला दर्ज
मोना बुगालिया के खिलाफ आरपीए के संचित निरीक्षक रमेश सिंह मीणा ने 29 सितंबर को शास्त्री नगर थाने में मामला दर्ज करवाया था। मोना के खिलाफ 11 सितंबर से 23 सितंबर तक सैंडविच कोर्स में फर्जी सब-इंस्पेक्टर बनकर ट्रेनिंग करने पर आईपीसी धारा 419, 468, 469 और 66DIT ACT और धारा 61 राजस्थान पुलिस एक्ट 2007 के तहत मामला दर्ज किया गया है।