Raipur।दिग्गज नेता और छजकां से विधायक धर्मजीत सिंह को छजकां ने पार्टी से निकाल दिया है। छजकां की ओर से जारी विज्ञप्ति में धर्मजीत सिंह को निष्कासित करने की वजह के रुप में लिखा गया है
“जिस पार्टी के चिन्ह पर चुनाव जीते और विधायक बने, उस पार्टी की नीतियों को त्यागने तथा छत्तीसगढ़ की क्षेत्रीय विचारधारा को मिटाने के प्रयास करने के कारणवश, जनता कांग्रेस ( जे ), लोरमी विधायक ठाकुर धर्मजीत सिंह को छः वर्षों के लिए पार्टी से निष्कासित करती है।”
विधानसभा अध्यक्ष डॉ महंत को सौंपा गया पत्र
छजकां की राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ श्रीमती रेणु जोगी और अमित जोगी ने विधानसभा अध्यक्ष डॉ चरणदास महंत से मिलकर एक पत्र सौंपा है।पत्र में ठाकुर धर्मजीत सिंह को पार्टी से 6 वर्ष के लिए निष्कासित करने के सूचना देते हुए यह भी सूचित किया है कि, अब छजका विधायक दल की नेता डॉ श्रीमती रेणु जोगी होंगी।
भाजपा से गहरी नज़दीकी और बीजेपी प्रवेश की चर्चाएँ ज़ोरों पर थी
विधायक धर्मजीत सिंह छजका के संस्थापकों में से एक हैं। वे छजका के संस्थापक रहे अजीत जोगी के साथ शुरु से जुड़े थे। वे लोरमी से विधायक हैं। लेकिन छजका सुप्रीमो अजीत जोगी के देहावसान के बाद विधायक धर्मजीत सिंह की नज़दीकी बीजेपी से कभी नहीं छुपी। उन्हें लेकर यह स्थापित रुप से माना गया कि, वे अगला चुनाव बीजेपी से लड़ेंगे। बीजेपी से अगला चुनाव लड़ने, अगले विधानसभा चुनाव के पहले किसी भी समय बीजेपी प्रवेश करने की अटकलों को विधायक धर्मजीत सिंह ने ख़ारिज नहीं किया।
क्या छजका के साथ महाराष्ट्र एपीसोड होना था ?
छजका विधायक दल में विधायक धर्मजीत सिंह को मिलाकर इस समय तीन विधायक हैं। एक खुद डॉ रेणु जोगी, दूसरे बलौदा बाज़ार से विधायक प्रमोद शर्मा, और फिर तीसरे खुद ठाकुर धर्मजीत सिंह। 2018 में जबकि कांग्रेस को सत्ता हासिल हुई तब छजका के कुल पाँच विधायक थे, इनमें से अजीत जोगी और देवव्रत सिंह का देहावसान हो गया और उप चुनाव में सत्ताधारी दल कांग्रेस ने जीत दर्ज की। अफवाह तेज़ी से तैरी हैं कि, छजकां के विधायक द्वय याने धरमजीत सिंह और प्रमोद शर्मा इसी महीने छजका पर दावा करते हुए महाराष्ट्र में एकनाथ शिंदे प्रकरण दोहराते, और बाद में छजका का विलय बीजेपी में कर देते।इससे बीजेपी के सामने छजकां के रुप में एक चुनौती ख़त्म होती, और उसे मतों के कटने का डर नहीं होता।
लेकिन ये केवल अफ़वाहें हैं या कि इनमें कोई सच्चाई है इसे कोई नहीं जानता। सागौन बंगला याने जोगी निवास पर अमित जोगी और डॉ श्रीमती रेणु जोगी इस पर ऑन दि रिकॉर्ड कुछ नहीं बोल रहे हैं। अमित जोगी ने द सूत्र से कहा
“हमारे दल की ओर से विज्ञप्ति आप सबको भेजी गई है। हमारे प्रवक्ता भगवानु नायक ने उसमें जो कहना था वह कह दिया है। मैं इतना जरुर कहना चाहता हूँ पापा के जाने के बाद ठाकुर धर्मजीत सिंह मेरे लिए अभिभावक की तरह थे, मुझे उनसे किसी छल की सपने में उम्मीद नहीं थी।”
धर्मजीत सिंह बोले - वक्त पर बोलूँगा
लोरमी से विधायक ठाकुर धर्मजीत सिंह ने इस प्रकरण में अभी कुछ भी प्रतिक्रिया देने से इंकार कर दिया है। उन्होंने द सूत्र से कहा
“मुझे अब तक कोई पत्र नहीं मिला है.. पत्र मिलेगा तब अपनी प्रतिक्रिया दूँगा.. अभी वक्त नहीं आया है।”