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BILASPUR. छत्तीसगढ़ में हाईकोर्ट का अजीब फैसला आया है। दरअसल, छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग (पीएससी) की राज्य सेवा परीक्षा 2022 की 12 फरवरी को प्रारंभिक परीक्षा होने वाली है। इससे पहले ही हाईकोर्ट ने रिजल्ट पर रोक लगा दी है। जानकारी के अनुसार 2021 की भर्ती प्रक्रिया में शामिल हुए अभ्यर्थियों की याचिका पर 31 जनवरी को सुनवाई हुई। इसके बाद हाईकोर्ट ने रिजल्ट पर रोक लगाने के साथ ही राज्य शासन और पीएससी को नोटिस जारी किया है। इस मामले की अगली सुनवाई 6 मार्च को होगी। लोक सेवा आरक्षण अधिनियम ने 1994 में संशोधन कर अधिनियम 2011 आरक्षण में 50 फीसदी से बढ़ा कर 58 फीसदी करने की अधिसूचना को हाईकोर्ट ने असंवैधानिक बताते हुए निरस्त कर दिया है।
2021 की पराक्षा की 2022 को हो गई थी साक्षात्कार की प्रक्रिया
जानकारी के अनुसार, सीजीपीएससी ने राज्य सेवा परीक्षा 2021 की प्रारंभिक और मुख्य परीक्षा के परिणाम घोषित करने के बाद 19 सितंबर 2022 को साक्षात्कार की प्रक्रिया पूरी कर ली थी, लेकिन इसी दौरान 58 फीसदी आरक्षण के मामले में हाईकोर्ट का निर्णय आने के कारण अंतिम चयन सूची जारी नहीं की जा सकी है। इधर, पीएससी ने 30 नवंबर 2022 को राज्य सेवा परीक्षा भर्ती प्रक्रिया 2022 के लिए विज्ञापन जारी कर दिया, 12 फरवरी को प्रारंभिक परीक्षा का आयोजन होना है। पीएससी 2022 के लिए जारी विज्ञापन को चुनौती देते हुए प्रस्तुत याचिकाओं में बताया गया कि लोक सेवा आयोग एक संवैधानिक संस्था है, जिसका काम लोक सेवा परीक्षा का आयोजन करना और अंतिम चयन सूची जारी कर राज्य शासन को अनुशंसा करना है।
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हाईकोर्ट ने परीक्षा परिणाम घोषित करने पर रोक लगाई
राज्य सेवा परीक्षा 2021 की चयन प्रक्रिया पूरी होने के बाद लोक सेवा आयोग और राज्य शासन, राज्य लोक सेवा परीक्षा नियम 2008 और लोक सेवा आयोग परीक्षा प्रणाली नियम 2014 के अनुसार वरिष्ठता सूची और अंतिम सूची जारी करने के लिए बाध्य है, लेकिन राज्य शासन और लोक सेवा आयोग ने अंतिम सूची जारी करने की जगह राज्य सेवा भर्ती प्रक्रिया 2022 की प्रक्रिया शुरू कर दी, जो नियमविरुद्ध और असंवैधानिक है। याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने परीक्षा के परिणाम घोषित करने पर रोक लगा दी है।