Bilaspur।सेंट्रल लॉक समेत हर ताले को गैस से जलाकर नष्ट करने के बाद चाेरी करने के तरीके से पुलिस के लिए चुनाैती बने याेगेश मसीह को पुलिस ने गिरफ्तार कर राहत की सांस ली है।याेगेश मसीह के चोरी करने के अंदाज की वजह से उसे पुलिस ने फायरमेन नाम दिया था।पुलिस ने आरोपियाें के पास से पच्चीस लाख कीमत के साेने चांदी के जेवरात बरामद किए है।फायरमेन उर्फ याेगेश मसीह की करीब पंद्रह चाेरी के मामलाें में पुलिस को तलाश थी। पुलिस ने याेगश मसीह,उसकी पत्नी जेस्मीन मसीह भगीरथ साेनी और शेख आलम को गिरफ्तार किया है।प्रमुख आरोपी याेगेश मसीह के पास पुलिस ने गैस कटर मिनी सिलेंडर भी जप्त किया है। आरोपियाें के पास से चालीस तोला साेना और दो किलो चांदी के साथ नगदी रकम की बरामदगी भी पुलिस ने दर्शाई है।
फायरमैन नाम यूं पड़ा
योगेश मसीह जिस भी घर में चाेरी करने जाता था, वह गैस कटर मिनी सिलेंडर लेकर जाता था, और सारे ताले को गैस से जलाकर नष्ट कर देता था। जब बार बार इसी अंदाज से चाेरी होने लगी तो घटना के तरीके से उसका नाम फायरमेन रख दिया गया। याेगेश मसीह चोरी करते वक्त मंकी कैप लगा लेता था, जिससे उसकी पहचान ही नही हो पाती थी।दर्जन भर से उपर वारदातों ने पुलिस को परेशान कर दिया था। हालांकि जबकि पुलिस ने फायरमेन की पता तलाश शुरू की तो याेगेश ने तरीका बदल दिया और लोहे की रॉड का इस्तेमाल करने लगा, लेकिन मंकी टोपी वह तब भी उपयाेग करता था।
यूं पकड़ाया फायर मेन
पुलिस के अनुसार एण्टी क्राईम एवं सायबर युनिट एवं सिरगिटटी थाना टीम तिफरा यदुनंदन नगर, इंडस्ट्रियल एरिया में पैदल कांम्बिग गस्त कर रही थी,तभी सेक्टर-डी सिरगिटटी क्षेत्र में एक व्यक्ति सिर में मंकी टोपी पहन कर हाथ में लोहे का राड पकडकर एवं एक पर्स लटका कर पैदल चलते आते दिखा, पुछताछ करने पर नाम योगेश यादव उर्फ योगेश मसीह पिता नेल्शन मसीह उम्र 46 साल निवासी कटनी करेनी मध्यप्रदेश अस्थाई पता परसदा आवास पारा थाना चकरभाठा का रहने वाला बताया और वर्ष 2018 से लगातार शहर के विभिन्न थाना क्षेत्रो में चोरी करना कबूल किया। चोरी किये गहने को अपने पत्नी जेस्मिन मसीह को देता था उसी के कहने पर तिलक नगर निवासी भागीरथी सोनी को उक्त चोरी के गहने को बेचती थी और पैसा लेकर आ जाती थी आरोपी एवं उसके पत्नी से पुछताछ के बाद प्रकरण में चोरी का सोने चांदी के गहने खरीदने वाले भागीरथी सोनी को भी अभिरक्षा में लेकर पुछताछ करने पर सोनार भागीरथी आरोपी से चोरी के गहने को खरीदना स्वीकार किया और बताया कि उक्त चोरी शुदा कुछ सोने चांदी के गहने को गोडपारा गलाईकर्ता शेख आलम को देता था और गहने के बदले गलाईकर्ता उक्त सोने को गला कर गहने भागीरथी सोनी को देता था एवं कुछ सोने को अपने पास रखता था।