JANJGIR CHAMPA. जांजगीर में बसपा के प्रदेश उपाध्यक्ष और जैजैपुर विधायक केशव चन्द्रा का बड़ा बयान सामने आया है। केशव चन्द्रा ने कहा है कि 2023 के विधानसभा चुनाव में बसपा किसी भी पार्टी से गठबंधन नहीं करेगी। 2018 के चुनाव में गठबंधन से बसपा को फायदा नहीं हुआ था। उन्होंने कहा है कि 90 विधानसभा सीटों पर बसपा मजबूती से चुनाव लड़ेगी और बसपा के बिना किसी भी पार्टी की सरकार नहीं बनेगी। बसपा में प्रत्याशी चयन के लिए सर्वे जारी है और जीतने वाले प्रत्याशी को टिकट मिलेगी।
'आम आदमी पार्टी प्रभावित नहीं करेगी'
बसपा नेता केशव चन्द्रा ने ये भी कहा है कि आम आदमी पार्टी कोई प्रभावित नहीं करेगी। विधायक केशव प्रसाद ने जेसीसीजे पर हमला बोलते हुए कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री स्व. अजित जोगी के निधन के बाद जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ (जे) पार्टी का अस्तित्व समाप्त हो गया है। जेसीसीजे नेतृत्व विहीन हो चुकी है। 50 से ज्यादा सीटों पर जीत का नीला झंडा लहराएंगे। बसपा आलाकमान से चुनाव लड़ने और पार्टी उम्मीदवारों के सर्वे करने की अनुमति मिली है।
कांग्रेस और बीजेपी के बीच मुख्य मुकाबला
बता दें कि छत्तीसगढ़ राज्य बनने के बाद जितने चुनाव हुए उसमें कांग्रेस और भाजपा के बीच ही मुख्य मुकाबला रहा है। थर्ड फ्रंट या तीसरी ताकत का प्रदर्शन कमजोर रहा है। बसपा 2 सीटों से आगे नहीं बढ़ पाई तो एनसीपी एक ही सीट जीती और गायब हो गई। जोगी कांग्रेस ने 5 सीटें जीतकर जरूर उम्मीद जगाई थी, लेकिन चुनाव आने से पहले ही बिखर गई है। दिल्ली और पंजाब के मुख्यमंत्री के आने के बाद छत्तीसगढ़ में आम आदमी पार्टी को लेकर कई दावे किए जा रहे हैं, लेकिन राजनीतिक पंडितों का मानना है कि अभी आने वाले 2-3 चुनावों तक मुख्य मुकाबला कांग्रेस और बीजेपी में ही होगा।
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छत्तीसगढ़ में पहले विधानसभा चुनाव में सबसे ज्यादा थी NCP की चर्चा
छत्तीसगढ़ में 2003 में पहला विधानसभा चुनाव हुआ था, उस दौरान एनसीपी की सबसे ज्यादा चर्चा थी। पूर्व केंद्रीय मंत्री विद्याचरण शुक्ल ने एनसीपी जॉइन किया था और 89 सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारे थे। तत्कालीन सीएम अजीत जोगी और शुक्ल कट्टर प्रतिद्वंद्वी थे। जोगी के कारण ही शुक्ल कांग्रेस से अलग हुए थे और पूरे छत्तीसगढ़ में एनसीपी का गठन किया था। इस चुनाव में भी बसपा को 2 सीटें मिलीं। मालखरौदा से लालसाय खूंटे और सारंगढ़ से कामदा जोल्हे की जीत हुई थी।