DURG. भिलाई नगर पालिका निगम के नौ बीजेपी पार्षदों पर बर्खास्तगी की तलवार लटक रही है। निगम परिषद के सभापति ने इस मामले में निगमायुक्त को पत्र लिखा है। जिस पर निगमायुक्त ने कार्रवाई की मांग करते हुए पत्र को संभाग आयुक्त की ओर बढ़ा दिया है। इस प्रक्रिया से बीजेपी में हड़कंप मच गया है। वहीं बीजेपी पार्षद एकजुट होकर बचाव का रास्ता तलाश रह हैं। यहां बता दें, नगर निगम की बजट बैठक के दौरान 31 मार्च को नेता प्रतिपक्ष समेत नौ बीजेपी पार्षदों पर सदन की अवमानना का आरोप है। यह भी कहा जा रहा है कि इन्होंने सदन में असंसदीय आचरण किया था।
बजट बैठक में किया था असंसदीय आचरण
नगर पालिका निगम भिलाई के सभापति गिरवर बंटी साहू के पत्र के बाद निगमायुक्त रोहित व्यास ने एक कवरिंग लेटर बनाकर संभागायुक्त को पत्र भेजा है। जिसमें 31 मार्च को हुई नगर निगम की बजट बैठक का जिक्र है। जहां बीजेपी के 9 पार्षदों पर सदन की अवमानना करते हुए सदन में असंसदीय आचरण करने का आरोप है। इन पार्षदों में निगम परिषद के नेता प्रतिपक्ष भी शामिल हैं।
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निगम परिषद में सियासत तेज
सभापति के पत्र के बाद निगम की सियासत तेज हो गई है, लेकिन संभावना है कि संभागायुक्त बीजपी के 9 पार्षदों का पक्ष सुनने के बाद ही कोई कार्रवाई करेंगे। हालांकि सभापति ने सदन की पूरी कार्यवाही का अवलोकन करने के बाद पुख्ता सबूतों के साथ निगमायुक्त व्यास के पास पत्र भेजा था। जो बाद में कमिश्नर के पास पहुंचा है। उधर, बीजेपी के जिन पार्षदों पर अवमानना का आरोप है, उनकी चिंताएं बढ़ गई हैं। हालांकि, उन्होंने भी अपने बचाव के लिए कानूनी और राजनीतिक प्रयास तेज कर दिए हैं। फिलहाल, आजकल भिलाई नगर निगम की सियासत की शहर में चर्चा है।
इन पार्षदों पर संकट के बादल
निगम के जिन 9 पार्षदों की बर्खास्तगी होनी है, उनमें वार्ड 17 से नेता प्रतिपक्ष भोजराज सिन्हा, वार्ड 38 के वरिष्ठ पार्षद पीयूष मिश्रा, वार्ड-11 के महेश वर्मा, वार्ड 41 के वीणा चंद्राकर, वार्ड 30 की सत्यादेवी जायसवाल, वार्ड 42 से विनोद सिंह, वार्ड 20 से स्मिता दोड़के और वार्ड 15 से संतोष मौर्या, वार्ड 40 से गिरजा बंछोर का नाम शामिल हैं।
क्या बोले महापौर और सभापति ?
भिलाई नगर पालिका निगम के महापौर नीरज पाल का कहना है कि सभापति के संज्ञान में जो विषय आया है, उस पर उन्होंने पत्र लिखा है। सभापति बंटी साहू ने कहा कि यदि कोई उपहार दिया गया था, तो उसे सदन के बाहर वापस कर देते सदन में लाने की जरूरत नहीं थी।
अनुचित कार्रवाई हुए तो कोर्ट जाएंगे- नेता प्रतिपक्ष
नेता प्रतिपक्ष भोजराज सिन्हा का कहना है कि निगम के भ्रष्टाचार को छिपाने निगम के मेयर ने उन्हें उपहार के रूप में मिक्सर जूसर भेजा था। जिन्हें उन्होंने लेने से इनकार करते हुए सदन में ही वापस कर दिया था। अब इसमें कोई असंसदीय आचरण का कोई विषय नहीं है। कमिश्नर के समक्ष हम अपना पक्ष रखेंगे और अगर अनुचित कार्रवाई हुई तो कोर्ट जाएंगे।