नई दिल्ली. अफ्रीका में मिले कोरोना के ओमिक्रॉन वैरिएंट (Omicron Variant) को वैरिएंट ऑफ कंसर्न कहा जा रहा है। इसको लेकर जारी केंद्र सरकार की गाइडलाइंस 1 दिसंबर से लागू हो गईं। कई राज्यों ने भी इसे लेकर सख्ती बरतने की बात कही है। जानें, पैसेंजर्स को क्या करना होगा...
12 देशों से आने वालों का RT-PCR
30 नवंबर की आधी रात से केंद्र की गाइडलाइंस लागू हो गईं। रिस्क देशों (Risk Countries) में शामिल 12 देशों से आने वाले हर व्यक्ति का एयरपोर्ट पर RT-PCR टेस्ट होगा। इन पैसेंजर्स को एयरपोर्ट पर ही टेस्ट रिजल्ट आने तक इंतजार करना होगा। यदि टेस्ट निगेटिव (Negative) आता है तो उन्हें 7 दिन का होम क्वारैंटाइन रहने की इजाजत दी जाएगी। 8वें दिन दोबारा RT-PCR टेस्ट होगा, जिसकी रिपोर्ट निगेटिव आने पर ही उन्हें बाहर घूमने की छूट मिलेगी।
4 राज्यों ने की सख्ती
1. महाराष्ट्र: सरकार ने 30 नवंबर को आदेश दिया कि देश के किसी अन्य राज्य से आने वाले व्यक्ति को भी RT-PCR टेस्ट कराना होगा। यह टेस्ट उनके लिए राज्य में एंट्री करने के 48 घंटे के अंदर कराना जरूरी होगा।
2. कर्नाटक: राज्य में इंटरनेशनल फ्लाइट से आने वाले हर यात्री का RT-PCR टेस्ट होगा। कर्नाटक के हेल्थ मिनिस्टर के मुताबिक, राज्य में रोज 2500 पैसेंजर्स इंटरनेशनल फ्लाइट से आते हैं, इनके टेस्ट कराए जाएंगे। जो निगेटिव निकलेंगे, उन्हें भी 7 दिन के लिए होम क्वारैंटाइन किया जाएगा।
3. गोवा: मुख्यमंत्री प्रमोद सावंत ने कहा- हमारे एयरपोर्ट पर उतरने वाले सभी फॉरेन पैसेजर्स का कोविड टेस्ट कराया जाएगा। जो लोग 'एट-रिस्क कंट्रीज' से आ रहे हैं, उन्हें 14 दिन के लिए अनिवार्य तौर पर क्वारैंटाइन किया जाएगा।
4. केरल: मुख्यमंत्री कार्यालय से जारी निर्देश के मुताबिक, राज्य में कोविड प्रिवेंशन में सहयोग नहीं करने वालों को मुफ्त इलाज की सुविधा नहीं दी जाएगी। जो लोग ऑफिसों में काम कर रहे हैं और जिन टीचर्स का वैक्सीनेशन नहीं हुआ है, उन्हें हर हफ्ते RT-PCR टेस्ट कराकर रिपोर्ट जमा करानी होगी।
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