नई दिल्ली. दुनिया में कोरोना की तीसरी लहर आने को लेकर कोई संशय नहीं रह गया है। केंद्र सरकार ने चेतावनी दी है कि अगले 100 से 125 दिन कोरोना से लड़ाई में महत्वपूर्ण रहेंगे। स्वास्थ्य मंत्रालय ने शुक्रवार को बताया कि, रोजाना के मामलों में जो गिरावट हो रही थी वह धीमी पड़ गई है। यह खतरे की घंटी है। प्रधानमंत्री मोदी ने लक्ष्य दिया है कि तीसरी लहर को आने ही नहीं देना है।
लापरवाही नहीं करना है
नीति आयोग के स्वास्थ्य विभाग के सदस्य डॉ. वीके पॉल ने कहा कि दूसरी लहर से हमने सीखा है कि हम लापरवाही नहीं कर सकते। यह वायरस बहुत चालाक है। उन्होंने कहा कि हम जुलाई से पहले वैक्सीन की 50 करोड़ डोज लगाने के अपने लक्ष्य की तरफ बढ़ रहे हैं। सरकार ने कोवीशील्ड और कोवैक्सीन की 66 करोड़ डोज का ऑर्डर दिया है। इसके अतिरिक्त 22 करोड़ डोज प्राइवेट सेक्टर को दी जाएंगी।
वैक्सीनेशन से डेथ रेट भी कम किया
पॉल ने ये भी बताया कि कोरोना की दूसरी लहर के दौरान वैक्सीन की पहली डोज से मृत्यु दर में 82% तक कमी आई, वहीं दूसरी डोज से 95% मौतों को रोका जा सका।
रिकवरी रेट बढ़ गया
लव अग्रवाल ने बताया कि 12 मई को कोरोना से रिकवरी को रेट 83% था जो अब बढ़कर 97.3% हो गया है। मई के पहले हफ्ते में 531 जिलों में रोजाना 100 से ज्यादा नए मामले सामने आ रहे थे। अब देश में ऐसे सिर्फ 73 जिले रह गए हैं। रोजाना लगभग 18 लाख टेस्ट भी कराए जा रहे हैं।
4.30 लाख रह गए एक्टिव केस
देश में कोरोना वैक्सीनेशन की 39.4 करोड़ डोज का आंकड़ा पार हो गया है। पहली डोज में 31.6 करोड़ वैक्सीन लगाई गईं, वहीं दूसरी डोज में 7.92 करोड़ वैक्सीन लगीं। दूसरी लहर के दौरान वैक्सीनेशन की वजह से डेथ रेट कम करने में मदद मिली। स्वास्थ्य मंत्रालय के संयुक्त सचिव लव अग्रवाल के मुताबिक 10 मई को कोरोना के सक्रिय मामले लगभग 37 लाख थे, जो अब घटकर तकरीबन 4.30 लाख रह गए हैं।
लोगों से की मास्क लगाने की अपील
लव अग्रवाल ने कहा कि कई शोधों में सामने आया है कि काम की तरफ लौट रहे लोग मास्क का कम इस्तेमाल कर रहे हैं। यह बेहद जरूरी है कि फेस मास्क को अब जीवन का सामान्य अंग मान लिया जाए।