BALIYA. अभी तक मध्यप्रदेश में मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना में फर्जीवाड़े सामने आते रहे हैं, लेकिन अब यूपी में सरकारी योजना में शादी करने का गजब ही मामला प्रकाश में आया है। यहां के बलिया जिले में मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना में धांधली का खुलासा हुआ है। सामूहिक विवाह में अपात्रों की जांच के लिए सीडीओ ने 20 सदस्यीय जांच टीम गठित कर दी है। 25 जनवरी को हुए सामूहिक विवाह में बगैर दूल्हे के कई दुल्हनों का खुद ही जयमाल डालते वीडियो सामने आया था।
बलिया में मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह
उत्तर प्रदेश के बलिया में मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना में फर्जीवाड़ा सामने आया है। यहां 25 जनवरी को 568 जोड़ों की शादी हुई थी, लेकिन इसमें बड़ी संख्या में दूल्हों के बिना ही दुल्हनों की शादी करा दी गई। इसका वीडियो भी सामने आया है। जिसमें कुछ दुल्हनें खुद ही वरमाला पहनती दिखाई दे रही हैं। फिलहाल, मामले में एफआईआर दर्ज कर जांच के आदेश दे दिए गए हैं।
इस योजना में मिलते हैं 51 हजार
बता दें कि मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना के तहत सरकार 51 हजार रुपए देती है। हर जिले में इसका आयोजन होता है। इसी क्रम में बलिया जिले में 568 जोड़ों की शादी कराई गई थी, लेकिन अब इसमें फर्जीवाड़ा निकलकर सामने आया है। सैकड़ों दुल्हनों की बिना दूल्हों की ही शादी करवा दी गई। कई सारी दुल्हनों ने तो अपने ही हाथों से अपने गले में वरमाला डाल ली। बुर्के में आई कई मुस्लिम दुल्हनों ने भी अपने हाथ से ही वरमाला डाली।
टूर पर आईं लड़कियों से करा दिया नाटक
पूछने पर पता चला कि इनमें कई सारी लड़कियां घूमने-फिरने के लिए आई थीं, जिन्हें पैसे का लालच देकर सामूहिक विवाह योजना में फर्जी तरीके से बैठा दिया गया। ताकि, कागजों में गिनती हो जाए और सरकारी खजाने से पैसे ले लिए जाएं।
वीडियो, जांच टीम गठित
अब घटना का वीडियो सामने आया है। जिसके बाद बवाल मच गया। मामले में बांसडीह विधानसभा से बीजेपी की विधायक केतकी सिंह ने कहा कि घटना संज्ञान में है। किसी दोषी को बख्शा नहीं जाएगा। यह गरीबों के साथ खिलवाड़ है। जिला प्रशासन ने भी जांच टीम गठित कर दी है। एफआईआर के आदेश दिए गए हैं।
अभी तक की जांच में 8 लोग फर्जी पाए गए
फिलहाल, CDO ने एक बयान में कहा कि 20 सदस्यीय टीम जांच कर रही है। मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना के तहत मिलने वाली धनराशि को तत्काल रोक दिया गया है। अभी तक 20 पात्रों कि जांच में 8 लोग लोग फर्जी पाए गए हैं। उनके खिलाफ मुकदमा दर्ज कर रिकवरी कराई जाएगी।