New Delhi. सेना भर्ती (Army Recruitment) को लेकर केंद्र सरकार द्वारा लाई गई अग्निपथ योजना (Agnipath Scheme) को लेकर देश के कई राज्यों में विरोध तेज हो गया है। दिल्ली, मध्य प्रदेश यूपी, बिहार, हरियाणा, राजस्थान, हिमाचल और उत्तराखंड में युवा प्रदर्शनकारी सड़क पर उतर आए हैं। विरोध का सबसे ज्यादा असर बिहार में देखा जा रहा है। कई जगह युवा रेलवे ट्रैक पर भी उतरे और ट्रेनों की आवाजाही रोक दी। बिहार के कई स्टेशनों पर ट्रेन पर पथराव किया गया।
हरियाणा के रोहतक में योजना के विरोध में एक छात्र ने खुदकुशी कर ली। हरियाणा के ही पलवल में हंगामा कर रहे छात्रों ने पुलिस की तीन गाड़ियां जला दीं। हिमाचल प्रदेश के धर्मशाला में चुनाव अभियान के लिए जा रही मोदी की रैली में विरोध जताने जा रहे युवाओं को रोका गया। यूपी में भी अभियान के खिलाफ नारेबाजी की गई। केंद्र सरकार की अग्निपथ योजना के खिलाफ छात्रों के प्रदर्शन के चलते कई ट्रेनें प्रभावित हुई हैं। सबसे ज्यादा प्रदर्शन बिहार में हुआ।
राहुल गांधी का ट्वीट
न कोई रैंक, न कोई पेंशन
न 2 साल से कोई direct भर्ती
न 4 साल के बाद स्थिर भविष्य
न सरकार का सेना के प्रति सम्मान
देश के बेरोज़गार युवाओं की आवाज़ सुनिए, इन्हे 'अग्निपथ' पर चला कर इनके संयम की 'अग्निपरीक्षा' मत लीजिए, प्रधानमंत्री जी।
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) June 16, 2022
बिहार: विधायक के वाहन पर पथराव, 5 घायल
अग्निपथ योजना के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे प्रदर्शनकारियों ने नवादा के भाजपा विधायक अरुणा देवी के वाहन पर पथराव कर दिया। जिसमें विधायक समेत पांच लोग घायल हो गए। ये सभी कोर्ट की ओर जा रहे थे। अग्निपथ योजना के विरोध में मुंगेर में भी प्रदर्शन देखने को मिला। यहां छात्रों ने साफियासराय चौक को जाम कर दिया। इतना ही नहीं प्रदर्शनकारियों ने आगजनी भी की। इससे एनएच और जमालपुर मुंगेर रोड पर यातायात पूरी तरह ठप हो गया। युवाओं ने कैमूर में एक ट्रेन में आग लगा दी है। हालांकि इस दौरान पुलिस सतर्क दिखी और आनन-फानन में आग को बुझाया गया। आरा रेलवे स्टेशन पर प्रदर्शनकारियों ने जमकर तोड़फोड़ मचाई। जहानाबाद में एनएच 83 पर आगजनी करते हुए विरोध जताया गया। इस कारण यहां थोड़ी देर के लिए यातायात व्यवस्था बाधित रही।
गुड़गांव में हाईवे जाम
अग्निपथ योजना का विरोध हरियाणा के गुरुग्राम में भी हुआ। गुड़गांव में दिल्ली-जयपुर और एनएच 48 को जाम किया गया। युवाओं का कहना है कि पिछले तीन साल से फौज में भर्ती नहीं की गई है और अब सिर्फ 4 साल की भर्ती की जाएगी। ये सही नहीं है।
दिल्ली: नांगलोई में भी प्रदर्शन
केंद्र सरकार द्वारा सेना में भर्ती के लिए हाल ही में पेश की गई अग्निपथ योजना का दिल्ली-एनसीआर में भारी विरोध हो रहा है। यहां छात्रों ने सड़कों पर जाम लगा दिया। दिल्ली के नांगलोई इलाके में छात्रों ने रेलवे ट्रैक जाम कर दिया।
उत्तराखंड: सड़क पर उतरे छात्र
सेना में भर्ती की नई योजना अग्निपथ योजना लागू करने के विरोध में बेरोजगार संगठनों के पदाधिकारियों, युवाओं ने राजधानी सहित प्रदेश के अलग-अलग जिलों में जमकर हंगामा किया। युवाओं ने बीजेपी की ओर से शहर के कई इलाकों में लगाए गए पोस्टरों, बैनरों को फाड़ डाला और केंद्र और राज्य सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। हंगामा कर रहे युवाओं ने अग्निपथ योजना को तत्काल प्रभाव से निरस्त करने की मांग की। कहा- ये युवाओं के साथ धोखा है।
यूपी: मथुरा, गोरखपुर में भी प्रदर्शन
मथुरा जिले के युवाओं ने कलक्ट्रेट में प्रदर्शन किया। बड़ी संख्या में कलक्ट्रेट पहुंचे युवाओं ने 3 साल पुरानी भर्ती को निरस्त करने का विरोध किया। प्रदर्शनकारी युवाओं ने सरकार से पुरानी सेना भर्ती को पुरानी प्रक्रिया के तहत ही पूरा करने की मांग की। प्रदर्शन में शामिल युवाओं ने बताया कि दिसंबर 2019 में आगरा मंडल के करीब एक लाख से ज्यादा युवाओं ने सेना भर्ती के लिए आवेदन किया था। सेना भर्ती रैली फरवरी 2021 में आगरा आयोजित की गई। इसमें दौड़ और मेडिकल में सफल 3300 से ज्यादा युवाओं को 25 अप्रैल 2021 में परीक्षा में शामिल होने की सूचना जारी की गई, लेकिन परीक्षा से पहले ही इसे निरस्त कर दिया गया।
वहीं, गोरखपुर में आक्रोशित युवाओं ने सहजनवां में जाम लगाया। उन्होंने चार साल की नियुक्ति पर सवाल खड़े किए और इस व्यवस्था को बदलने की मांग की। युवाओं ने खजनी थाना क्षेत्र से पैदल विरोध करते हुए सहजनवां पहुंचे। गोरखपुर में सड़कों पर जुटे छात्रों ने कहा कि पहले तो तीन साल से सेना में भर्ती नहीं हो रही थी। अब सिर्फ चार साल की नौकरी वाली योजना पेश कर दी। ये हमारे साथ धोखा है।
4 साल बाद हम कहां जाएंगे- छात्र
प्रदर्शनकारियों का कहना है कि भर्ती पहले की तरह की जाए, टूर ऑफ ड्यूटी (टीओडी) को वापस लिया जाए और परीक्षा पहले की तरह आयोजित की जाए। कोई भी सेना में सिर्फ 4 साल के लिए नहीं जाएगा। वहीं जहानाबाद में प्रदर्शन कर रहे एक अन्य प्रदर्शनकारी ने कहा कि केवल 4 साल काम करने के बाद हम कहां जाएंगे? 4 साल की सेवा के बाद हम बेघर हो जाएंगे। इसलिए हमने सड़कों को जाम कर दिया है, देश के नेताओं को अब पता चल जाएगा कि लोग जागरूक हैं। वहीं एक अन्य प्रदर्शनकारी ने कहा कि हम सशस्त्र बलों में शामिल होने के लिए कड़ी मेहनत करते हैं। महीनों के प्रशिक्षण और छुट्टी के साथ 4 साल की सेवा कैसी होगी? सिर्फ 3 साल के प्रशिक्षण के बाद हम देश की रक्षा कैसे करेंगे? सरकार को ये योजना वापस लेनी होगी।