देश का सबसे लंबा पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे तैयार है। इस 6 लेन एक्सप्रेस-वे की लंबाई 340.8 किमी है। इसे उत्तर प्रदेश एक्सप्रेस-वे इंडस्ट्रीयल डेवलपमेंट अथॉरिटी (UPEIDA) ने 3 साल में तैयार किया है। पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे लखनऊ के चांद सराय गांव से शुरू होगा जो गाजीपुर में NH-31 पर स्थित हैदरिया गांव पर खत्म होगा। यानी राजधानी दिल्ली से पूर्वांचल के आखिरी छोर तक सीधी कनेक्टिविटी हो जाएगी। आइए आपको बताते हैं एक्सप्रेस-वे से जुड़े नियमों के बारे में।
एक्सप्रेस-वे से जुड़े नियम
नेशनल हाईवे पर कार के लिए 100km/h की अधिकतम स्पीड लिमिट तय की गई है, जबकि एक्सप्रेस-वे या नेशनल एक्सप्रेस-वे पर ये लिमिट 120km/h है।
टू-व्हीलर के लिए हाईवे और एक्सप्रेस-वे पर स्पीड लिमिट 80km/h है।
हैवी व्हीकल जैसे बस और ट्रक के लिए स्पीड लिमिट 100km/h तक है।
एक्सप्रेस-वे पर ऐसे CCTV कैमरे लगाए गए हैं जो गाड़ी की स्पीड पर नजर रखते हैं।
गाड़ी की स्पीड तय लिमिट से ज्यादा होती है तो कैमरे में कैद हो जाती है। आप एक टोल से दूसरे टोल पर कितने समय में पहुंचे, इस बात से गाड़ी की स्पीड का पता लगाया जाता है।
ओवर स्पीड होने पर टोल पर ही गाड़ी का चालान किया जाता है। ये चालान वैसे तो फिक्स होता है, लेकिन स्पीड के हिसाब से ज्यादा भी किया जा सकता है।
सबसे ज्यादा 5 एक्सप्रेस-वे UP में
देश में अब कुल 19 एक्सप्रेस-वे हैं। इनमें से सबसे ज्यादा 7 उत्तर प्रदेश में हैं। इनमें 2 दिल्ली के साथ जुड़े हैं। देश के 2 सबसे बड़े एक्सप्रेस-वे भी उत्तर प्रदेश में हैं।
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