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दिल्ली. असदुद्दीन ओवैसी (Asaduddin Owaisi) के काफिले पर जो हमला हुआ था, उसपर गृह मंत्री (Home Minister) अमित शाह (Amit Shah) ने आज यानि 7 फरवरी को राज्यसभा (Rajya Sabha) में मंत्रालय की तरफ से बयान दिया। उन्होंने कहा कि ना तो हापुड़ में ओवैसी का कोई कार्यक्रम था और ना ही प्रशासन को उनके उस रूट से जाने की जानकारी दी गई थी। आखिर में अमित शाह ने कहा कि वह ओवैसी से विनती करते हैं कि वह सरकार की तरफ से दी जा रही सुरक्षा ले लें।
सदन में बोले शाह : ओवेसी पर हुए हमले पर बोलते हुए शाह ने कहा कि 3 फरवरी 2022 को 5.30 पर सांसद जनसंपर्क से वापस लौट रहे थे। तब 2 अज्ञात व्यक्तियों ने उनकी गाड़ी पर गोली चलाई। इस घटना को तीन गवाहों ने देखा भी था। घटना को लेकर पिलखुवा में FIR भी दर्ज हुई है। इसकी विवेचना की जा रही है। मंत्री शाह बोले कि मामले में त्वरित कार्रवाई करते हुए दो आरोपियों को अरेस्ट किया गया, उनके पास से दो अनधिकृत पिस्तौल और एक ऑल्टो कार बरामद की गई। फोरेंसिक टीम कार और घटना स्थल की सूक्ष्म जांच कर रही है और साक्ष्य जुटा रही है।
हापुड़ में नहीं था कोई कार्यक्रम - शाह : अपने संबोधन में शाह ने आगे कहा कि हापुड़ में उनका (ओवैसी) कोई कार्यक्रम नहीं था ना इस रूट से जाने जिला नियंत्रण कक्ष को कोई जानकारी थी। ओवेसी सुरक्षित दिल्ली पहुंच गए। फिलहाल दोनों अभियुक्तों से पूछताछ की जा रही है। ओवेसी को सुरक्षा प्रदान करने की बात कही गई। खतरे का मूल्यांकन कराया गया Z श्रेणी सुरक्षा दी गई है, जिसमें बुलेट प्रूफ कार और CRPF के जवान शामिल हैं। लेकिन मौखिक रूप से उन्होंने सुरक्षा लेने से मना कर दिया है।
बता दें कि असदुद्दीन ओवैसी जब मेरठ से जनसभा करके लौट रहे थे तो हापुड़ टोल प्लाजा पर उनकी कार पर हमला हुआ था। इसमें 3-4 गोलियां चली थीं, जिसके कार पर निशान ओवैसी ने खुद ट्वीट करके दिखाए थे। हमले का सीसीटीवी फुटेज भी सामने आ गया था। बाद में दो आरोपियों को पिलखुवा पुलिस ने गिरफ्तार किया था।
छिजारसी टोल पर किया गया था हमला : वहीं औवैसी कार्यक्रम के बाद किठौर से दिल्ली जाने के लिए अपनी लैंड रोवर डिस्कवरी कार में सवार होकर निकल गए। सचिन ने पुलिस को बताया कि ये देख मैने और शुभम ने सोचा कि अगर आज ये निकल गए तो आगे पता नहीं कब मौका मिले। इसके बाद हमने तेजी से अपनी गाड़ी छिजारसी टोल की ओर भगाई और ओवैसी से पहले हम टोल पर पहुंच गए। सचिन के पास 9 एमएम पिस्तौल और 12 कारतूस थे जबकि शुभम के पास। 32 बोर की पिस्तौल और 10 कारतूस थे। सचिन ने अपनी पिस्तौल में 5 कारतूस भरे। दोनों ही टोल पर ओवैसी का इंतजार करने लगे। जैसे ही ओवैसी की लैंड रोवर कार टोल पर आकर स्लो हुई, दोनों ने ओवैसी की कार पर गोली चलाना शुरू कर दिया।
सचिन ने पुलिस पूछताछ में ये दावा किया है कि पहली गोली जब चलाई तो ओवैसी ने उसे देख लिया था। ओवैसी खुद को बचाने के लिए कार में नीचे की ओर झुक गए। इसलिए मैंने कार पर नीचे की ओर गोली चलाई। सचिन ने पुलिस को बताया कि मुझे उम्मीद थी कि ओवैसी मर गए।