लखनऊ. लखीमपुर हिंसा केस (Lakhimpur Violence Case) में उत्तर प्रदेश विशेष जांच दल (SIT) ने 3 जनवरी को चार्जशीट (Chargesheet) दायर कर दी है। इसमें केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा टेनी के बेटे आशीष के बेटे को मुख्य आरोपी (Main Accused) बनाया गया है। चार्जशीट में ये भी है कि घटना के समय आशीष घटनास्थल पर ही मौजूद था।
ये था मामला: 3 अक्टूबर को लखीमपुर के तिकुनिया में किसान प्रदर्शन कर रहे थे। इसी दौरान एक गाड़ी उन्हें रौंदते हुए निकली थी। चार किसानों समेत 8 लोगों की मौत हो गई थी। घटना के कई वीडियो सामने आए थे। घटना के बाद काफी बवाल हुआ था। कांग्रेस और आम आदमी पार्टी ने इस मुद्दे पर केंद्र और राज्य सरकार को जमकर घेरा था। प्रियंका गांधी और राहुल गांधी दोनों लखीमपुर पहुंचे थे। केंद्रीय मंत्री अजय मिश्र टेनी के बेटे आशीष पर आरोप लगे। फिलहाल आशीष गिरफ्तार है।
बक्सों में चार्जशीट लेकर कोर्ट पहुंची टीम: SIT लोहे के बक्से में 5000 पन्ने की चार्जशीट लेकर लखनऊ कोर्ट पहुंची। चार्जशीट में पुलिस ने आशीष मिश्रा के एक अन्य रिश्तेदार को भी आरोपी बनाया है। पुलिस के मुताबिक, वीरेंद्र शुक्ला पर सबूत छिपाने के आरोप हैं। आशीष मिश्रा की थार जीप के पीछे चल रही दो गाड़ियों में से एक वीरेंद्र की स्कॉर्पियो थी। पहले शुक्ला ने अपनी स्कॉर्पियो छिपाकर दूसरे की गाड़ी को बताया था।
आशीष के असलहों से हुई फायरिंग: एसआईटी ने अपनी जांच में लखीमपुर हिंसा में आशीष की बंदूकों से फायरिंग की पुष्टि की है। आशीष की रिवाल्वर और राइफल से भी फायरिंग हुई। एसआईटी ने चार्जशीट में आशीष और अंकित दास की लाइसेंसी बंदूक से फायरिंग की बात कही है। आशीष ने कहा था 1 साल से उनके असलहों से कोई फायर ही नहीं किया गया।
मामले में 13 आरोपी जेल में: लखीमपुर मामले में मुख्य आरोपी आशीष मिश्रा समेत सभी 13 आरोपी जेल में हैं। पुलिस ने चार्जशीट में एक नया नाम वीरेंद्र शुक्ला बढ़ाया है। वीरेंद्र पर धारा 201 के तहत सबूत मिटाने की साजिश का आरोप है। वीरेंद्र, केंद्रीय मंत्री अजय मिश्रा के सगे साले हैं और पलिया ब्लाक से मौजूदा ब्लाक प्रमुख हैं।