Ram Gopal Mishra Bahraich : उत्तर प्रदेश के बहराइच में विसर्जन जुलूस के दौरान हुई हिंसा में जान गंवाने वाले रामगोपाल मिश्रा की मौत को लेकर तरह-तरह की बातें सामने आ रही थीं। मीडिया रिपोर्ट्स में रामगोपाल की मौत को लेकर कई तरह के दावे किए गए थे, जैसे उनके नाखून उखाड़ लिए गए, उन्हें मारने के लिए बिजली के झटके भी दिए गए और उनकी आंखों के पास किसी धारदार हथियार से गहरे घाव किए गए। अब पुलिस ने इस मामले में अपना बयान जारी किया है। पुलिस ने मीडिया रिपोर्ट्स के इन दावों को नकार दिया है। पुलिस का कहना है की गोली लगने से रामगोपाल मिश्रा की मौत हुई थी।
पुलिस ने और क्या कहा
इस मामले में बहराइच पुलिस ने लोगों से अपील करते हुए एक्स पर पोस्ट कर लिखा कि, दिनांक 13.10.2024 को कस्बा महराजगंज थाना हरदी जनपद बहराइच में घटित घटना में एक हिन्दू व्यक्ति की हत्या के सम्बन्ध में सोशल मीडिया में साम्प्रदायिक सौहार्द को बिगाड़ने के उद्देश्य से भ्रामक सूचना जैसे मृतक को करंट लगाना, तलवार से मारना एवं नाखून उखाड़ना आदि बातें फैलाई जा रही हैं जिसमें कोई सच्चाई नहीं है। पोस्टमॉर्टम में मृत्यु का कारण गोली लगने से होना पाया गया है। इस घटना में एक व्यक्ति के अतिरिक्त अन्य किसी की मृत्यु नही हुई है। अतः सभी से अनुरोध है कि साम्प्रदायिक सौहार्द को बनाये रखने के लिए अफवाहों पर ध्यान न दें व भ्रामक सूचनाओं को प्रसारित न करें।
विसर्जन के दौरान दो पक्षों में कहासुनी
बहराइच के थाना हरदी क्षेत्र के रेहुआ मंसूर गांव निवासी रामगोपाल मिश्रा रविवार 13 अक्टूबर शाम करीब छह बजे दुर्गा प्रतिमा विसर्जन जुलूस में शामिल थे। जब यह जुलूस महराजगंज बाजार में एक समुदाय विशेष के मोहल्ले से गुजर रहा था। तभी दो पक्षों में कहासुनी हो गई। आरोप है कि इस दौरान छतों से पत्थर फेंके गए, जिससे विसर्जन के दौरान भगदड़ मच गई।
मौत की खबर के बाद दंगा भड़का
रामगोपाल की मौत की खबर के बाद महराजगंज में दंगा भड़क गया। गुस्साए प्रदर्शनकारियों ने आरोपी के घर समेत कई वाहनों में तोड़फोड़ कर आग के हवाले कर दिया। इस बीच जब मृतक का शव गांव पहुंचा तो भीड़ फिर उग्र और बेकाबू हो गई। इस दौरान महराजगंज क्षेत्र के कई घरों, नर्सिंग होम, बाइक शोरूम और दुकानों में आग लगा दी गई और तोड़फोड़ की गई। वहीं बेकाबू भीड़ को रोकने के लिए पुलिस ने आंसू गैस के गोले दागे। हालात बिगड़ते देख पूरे जिले में इंटरनेट सेवा बंद कर दी गई। सड़क पर पीएसी, आरएएफ को तैनात कर दिया गया। एसटीएफ प्रमुख खुद पिस्टल लेकर सड़क पर निकले। घटना के तीन दिन बाद भी महसी के महराजगंज में हालात तनावपूर्ण बने हुए हैं।
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