बीजेपी पसमांदा वोटों को साधने पूर्व राष्ट्रपति कलाम की पुण्यतिथि पर निकालेगी पसमांदा स्नेह सम्मान यात्रा, 3 महीने चलेगी यात्रा

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Chandresh Sharma
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बीजेपी पसमांदा वोटों को साधने पूर्व राष्ट्रपति कलाम की पुण्यतिथि पर निकालेगी पसमांदा स्नेह सम्मान यात्रा, 3 महीने चलेगी यात्रा

New Delhi. लगातार पसमांदा मुसलमानों के वोट बैंक पर सेंध लगाने की कोशिश में जुटी बीजेपी अब पूर्व राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम की पुण्यतिथि से एक बड़ा इवेंट करने जा रही है। बीजेपी देश भर में 3 माह यानि कलाम के जन्मदिन तक पसमांदा स्नेह सम्मान यात्रा निकालेगी। इस यात्रा का स्लोगन रहेगा ‘सम्मान से उत्थान के लिए’। माना जा रहा है कि इस यात्रा के जरिए बीजेपी 14 राज्यों की उन 63 सीटों पर राजनैतिक गणित सेट कर रही है जहां पसमांदा मुसलमान निर्णायक स्थिति में हैं। 





दिल्ली से भोपाल तक होगी यात्रा







बीजेपी अल्पसंख्यक मोर्चा ने बैठक के बाद इस यात्रा का फैसला लिया है। मोर्चा अध्यक्ष जमाल सिद्दीकी ने बताया कि यह यात्रा दिल्ली से शुरु होगी, जिसका समापन भोपाल में होना है। यह यात्रा उन 14 राज्यों में निकाली जाएगी जहां अल्पसंख्यकों की तादाद 32 फीसदी से ज्यादा है। 







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  • केरल के वायनाड से भी निकलेगी यात्रा







    खास बात यह है कि इस यात्रा को राहुल गांधी की लोकसभा वायनाड से भी निकाला जाएगा। इसके अलावा यात्रा गोवा में भी आयोजित की जाएगी। बता दें कि वायनाड में अल्पसंख्यक वोटों का प्रतिशत 50 फीसदी से ज्यादा है। 





    उत्तरप्रदेश और बंगाल में फोकस







    इस यात्रा के जरिए बीजेपी उत्तरप्रदेश की 13 और पश्चिम बंगाल की उन 13 सीटों को साधना चाहती है जहां मुस्लिम वोट परसेंट ज्यादा है। इसके अलावा असम की 7 सीटों, बिहार की 4, जम्मू कश्मीर की 5, केरल की 8 सीटों पर भी पार्टी इस यात्रा के जरिए पसमांदा मुसलमानों को बीजेपी के समर्थन में लाने का प्रयास करेगी। 





    80 फीसदी तादाद है पसमांदा मुस्लिमों की







    बीजेपी का कहना है कि पसमांदा मुसलमानों की तादाद कुल मुस्लिम आबादी का 80 प्रतिशत है। इन्हें अन्य दल वोट बैंक के रूप में इस्तेमाल करते चले आए, लेकिन इनके लिए कुछ नहीं किया गया। कभी दिग्विजय सिंह तो कभी असदउद्दीन ओवैसी को इनका नेता बताया जाता रहा है। बीजेपी अब पसमांदा मुसलमानों को यह समझाने का प्रयास करेगी कि उनके असली प्रेरणास्त्रोत तो पूर्व राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम हैं। 







     



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