NEW DELHI. कांग्रेस से राज्यसभा सांसद धीरज साहू ने आयकर की कार्रवाई के बाद अपनी पहली प्रतिक्रिया दी है। छापेमारी में जब्त किए गए 350 करोड़ से ज्यादा कैश के मामले में धीरज साहू ने कहा कैश से मेरा लेना-देना नहीं हैं, छापेमारी में जो कैश बरामद किया गया है, वो मेरी शराब की कंपनियों का है, शराब का कारोबार नकदी में ही होता है, और इससे कांग्रेस का कोई लेना देना नहीं है। साहू ने आगे कहा कि वह 30-35 सालों से राजनीति में सक्रिय हैं। वह हमेशा चाहते थे कि उनके राजनीतिक जीवन में कभी विवाद न हो, लेकिन अब विवाद हुआ है तो वह मजबूरन अपने और अपने परिवार के बारे में जानकारी देना चाहते हैं।
'ये कैश मेरी शराब फर्मों से जुड़ा'
इस पूरे मामले पर धीरज साहू ने अपनी प्रतिक्रिया दी है। सांसद धीरज साहू का कहना है कि ''मैं स्वीकार करता हूं कि जो भी पैसा रिकवर किया गया है, वो मेरी ही फर्म का है। ये कैश मेरी शराब फर्मों से जुड़ा है। ये शराब बेचने से हुई कमाई है। उनका कहना है कि शराब एक ऐसा व्यवसाय है, जो कि ज़्यादातर नकदी आधारित है। इसका कांग्रेस और दूसरी पार्टियों से कोई लेना देना नहीं है। जैसा कि कहा जा रहा है, ये सारा पैसा मेरा भी नहीं है। ये मेरे परिवार और दूसरी फर्मों का है। अब आयकर विभाग ने छापा मार दिया है, तो मैं हर चीज का हिसाब दूंगा।
क्या है पूरा मामला
बता दे कि बीते दिनों आयकर विभाग ने शराब कारोबारी और कांग्रेस सांसद धीरज साहू के ठिकानों पर छापामार कार्रवाई करते हुए 300 करोड़ से ज्यादा कैश बरामद किया। ये छापेमारी 6 दिसंबर को शुरू की थी, आईटी ने ओडिशा, झारखंड और पश्चिम बंगाल में 40 से ज्यादा ठिकानों पर छापा मारा था, ये छापेमारी बौद्ध डिस्टिलरी प्राइवेट लिमिटेड और उससे जुड़ी कंपनियों पर हुई थी। छापेमारी के दौरान आयकर विभाग की टीम को इतना ज्यादा कैश मिला कि इन्हें गिनने के लिए और टीमों को बुलाना पड़ गया, नोट गिनने के लिए 40 मशीनें बुलाई गई थीं. 25 मशीनों का इस्तेमाल हुआ। इस मामले को लेकर बीजेपी और कई नेता कांग्रेस पर हमलावर है।
कौन हैं धीरज प्रसाद साहू
राज्य सभा की वेबसाइट के अनुसार 23 नवंबर 1955 को रांची में जन्मे धीरज प्रसाद साहू के पिता का नाम राय साहब बलदेव साहू है और मां का नाम सुशीला देवी है। वे तीन बार राज्यसभा सांसद रहे हैं। वो 2009 में राज्यसभा सांसद बने थे। जुलाई 2010 में वो एक बार फिर झारखंड से राज्यसभा के लिए चुने गए। तीसरी बार वो मई 2018 में राज्य सभा के लिए चुने गए।
पीएम मोदी ने साधा था निशाना
आयकर विभाग की इस कार्रवाई को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी प्रतिक्रिया दी थी और कांग्रेस पर निशाने साधा था। पीएम मोदी ने एक्स पर लिखा था कि ''देशवासी इन नोटों के ढेर को देखें और फिर इनके नेताओं के ईमानदारी के भाषणों को सुनें। जनता से जो लूटा है, उसकी पाई-पाई लौटानी पड़ेगी, यह मोदी की गारंटी है।