इलेक्ट्रिक वाहनों की मदद से भारत में रोज हो रही 10.27 लाख लीटर ईंधन की बचत, कार्बन उत्सर्जन काफी कम हुआ

author-image
Pratibha Rana
एडिट
New Update
इलेक्ट्रिक वाहनों की मदद से भारत में रोज हो रही 10.27 लाख लीटर ईंधन की बचत, कार्बन उत्सर्जन काफी कम हुआ

New Delhi. पर्यावरण की रक्षा के लिए भारत का संकल्प अब धरातल पर नजर आने लगा है। बदलते दौर में वाहनों की संख्या तेजी से बढ़ रही है। हालांकि राहत की बात है कि नए वाहनों में से 30 प्रतिशत वाहन पर्यावरण को नुकसान नहीं पहुंचा रहे हैं। यह संभव हो सका है इलेक्ट्रिक वाहनों (ईवी) से। सरकारी सब्सिडी की मदद से इलेक्ट्रिक वाहनों की बिक्री रफ्तार पकड़ चुकी है। इसी का नतीजा है कि रोज लाखों लीटर ईंधन की बचत होने लगी है। ईंधन के खर्च में गिरावट से कार्बन उत्सर्जन में भी कमी आई है। इससे पर्यावरण को स्वच्छ रखने में मदद मिल रही है और आयात बिल भी कम हो रहा है। 



अब तक वाहन इतने बिके भारत में 



फेम-2 स्कीम के तहत : 8,72,920 इलेक्ट्रिक वाहनों की बिक्री हुई अब तक 

सब्सिडी स्कीम के तहत : 7,13,836 इलेक्ट्रिक दोपहिया की बिक्री हो चुकी है 



रोजाना स्तर पर 14,97,479 किलोग्राम कम कार्बन का उत्सर्जन



इलेक्ट्रिक वाहनों की बिक्री करने के लिए 2019 में फास्टर एडाप्शन एंड मैन्यूफैक्चरिंग आफ इलेक्ट्रिक व्हीकल्स (फेम) स्कीम-2 की शुरुआत हुई थी। इसके तहत केंद्र सरकार इलेक्ट्रिक वाहनों की बिक्री पर सब्सिडी देती है। भारी उद्योग मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार, फेम-2 की शुरुआत से लेकर 30 जून 2023 तक 8,72,920 इलेक्ट्रिक वाहनों की बिक्री हो चुकी है। इनमें सबसे अधिक दोपहिया वाहनों की हिस्सेदारी है। आठ लाख से अधिक ईवी की बिक्री से रोजाना 10,27,949 लीटर ईंधन की बचत हो रही है, वहीं पिछले चार सालों में 39.82 करोड़ लीटर ईंधन की बचत हो चुकी है। इससे पिछले चार सालों में 5.77 करोड़ किलोग्राम कम कार्बन का उत्सर्जन हुआ है। रोजाना स्तर पर 14,97,479 किलोग्राम कम कार्बन का उत्सर्जन हो रहा है।



पिछले 3 वित्त वर्ष में ही ईवी की बिक्री ने पकड़ी रफ्तार




  • वित्त वर्ष 2019-20 :14,000 इलेक्ट्रिक दोपहिया की बिक्री हुई थी।


  • वित्त वर्ष 2021-22 : इलेक्ट्रिक दोपहिया की बिक्री 2,09,000 यूनिट हुई।

  • वित्त वर्ष 2022-23 : इलेक्ट्रिक दोपहिया की बिक्री 3,03,000 यूनिट हुई।



  • ईवी बसों की बिक्री भी बढ़ी



    फेम-2 स्कीम के तहत इलेक्ट्रिक बसों की बिक्री भी बढ़ रही है। वित्त वर्ष 2021-22 में 718 इलेक्ट्रिक बसों की बिक्री हुई थी, जिनकी संख्या वित्त वर्ष 2022-23 में बढ़कर 1,580 हो गई।



    फेम-3 स्कीम लाने की तैयारी में केंद्र सरकार



    चालू वित्त वर्ष 2023-24 के आखिर में फेम-2 स्कीम की अवधि समाप्त हो रही है। मंत्रालय सूत्रों के मुताबिक, केंद्र सरकार फेम-3 स्कीम लाने के लिए मसौदा तैयार कर रही है। अभी दोपहिया वाहनों की कुल बिक्री में इलेक्ट्रिक दोपहिया की हिस्सेदारी 6% के आसपास है। इस हिस्सेदारी के 30% तक पहुंचने तक सरकार इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा देने के लिए सब्सिडी जारी रख सकती है।   



    फेम-2 में इलेक्ट्रिक वाहनों की बिक्री (आंकड़े भारी उद्योग मंत्रालय के)



             वाहन        बिक्री




    • दोपहिया    7,13,836


  • तिपहिया    82,126

  • चारपहिया    8,698

  • बसें        2,858



  • (आंकड़े भारी उद्योग मंत्रालय के अनुसार वित्त वर्ष 2019-20 से लेकर 30 जून 2023 तक के हैं, निजी इलेक्ट्रिक कार खरीदने के लिए सरकार की तरफ से सब्सिडी नहीं दी जाती है)

     


    Sale of electric vehicles 10.27 lakh liters of fuel saved reduction in carbon emissions fame scheme-2 subsidy in EV vehicles इलेक्ट्रिक वाहनों की बिक्री 10.27 लाख लीटर ईंधन की बचत कार्बन उत्सर्जन में कमी फेम स्कीम-2 ईवी वाहनों में सब्सिडी