शव के साथ रेप करने पर सजा हो सकती है? कर्नाटक हाई कोर्ट ने बड़ा फैसला सुनाया, इस पर क्या कहता है कानून, जानें सब

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Atul Tiwari
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शव के साथ रेप करने पर सजा हो सकती है? कर्नाटक हाई कोर्ट ने बड़ा फैसला सुनाया, इस पर क्या कहता है कानून, जानें सब

BENGALURU. कर्नाटक हाई कोर्ट ने हत्या और शव के साथ रेप करने के मामले में आरोपी को हत्या का दोषी करार दिया है। वहीं, शव के साथ रेप करने पर कानून नहीं होने का हवाला देते हुए रेप के मामले में बरी कर दिया है। साथ ही केंद्र सरकार को इस पर कानून बनाने के लिए भी कहा। हाईकोर्ट ने कहा कि शव ना तो बोल सकता है और ना ही विरोध कर सकता है। इसलिए यह जिंदा व्यक्ति की जिम्मेदारी है कि वह उसके लिए आवाज उठाए।



क्या था मामला और कोर्ट ने क्या कहा?



असल में 2015 में कर्नाटक के तुमकुरु जिले में एक महिला की हत्या के बाद उसके साथ रेप हुआ था। इस मामले की सुनवाई करते हुए हाई कोर्ट ने निचली अदालत का फैसला पलटते हुए आरोपी को हत्या के मामले में दोषी करार दिया, लेकिन रेप के मामले में बरी कर दिया। हाई कोर्ट ने कहा कि भारत में मुर्दों के साथ रेप करने पर सजा का कोई कानून नहीं है। इस वजह से आरोपी को रेप के मामले में दोषी करार नहीं दे सकते। 



कोर्ट ने कहा- कई बार सुनने में आया है कि सरकारी और निजी अस्पतालों में शवों की सुरक्षा में तैनात गार्ड जवान महिलाओं के शव के साथ रेप करते हैं, इसलिए केंद्र सरकार को धारा-377 में संशोधन करके नेक्रोफलिया पर कानून बनाना चाहिए। इससे पहले ट्रायल कोर्ट ने आरोपी को हत्या और रेप, दोनों मामलों में दोषी करार दिया था, जिस पर आरोपी ने हाई कोर्ट में अपील की थी।



रेप और नेक्रोफीलिया में अंतर



हाई कोर्ट ने रेप और नेक्रोफीलिया में अंतर बताते हुए कहा कि रेप जीवित व्यक्ति के साथ हो सकता है, शव के साथ नहीं। जीवित व्यक्ति में भावना होती हैं, मृतकों में नहीं। मरे हुए व्यक्ति के साथ रेप करने को नेक्रोफीलिया कहते हैं। वहीं, हाई कोर्ट राज्य सरकार को 6 महीने में शव की सुरक्षा के लिए निर्देश जारी करने के आदेश दिए हैं, ताकि शव के साथ इस तरह की घटना ना हो। साथ ही सरकारी और निजी अस्पतालों में शवों की देखरेख कैसे की जाए, इस पर जवाब मांगा है।



इन देशों में नेक्रोफीलिया अपराध घोषित 




  • यूके- यूनाइटेड किंगडम (ब्रिटेन, वेल्स, स्कॉटलैंड और नॉर्थ आयरलैंड) में यौन अपराध अधिनियम 2003 की धारा 70 के तहत जानबूझकर या लापरवाही से शव के साथ संबंध बनाने पर आरोपी को 6 महीने से लेकर 2 साल तक की सजा का प्रावधान है।


  • कनाडा- यहां के क्रिमिनल कोड 1985 की धारा 182 नेक्रोफीलिया को दंडनीय बनाती है। कनाडा में सजा 5 साल तक की सजा का प्रावधान है।

  • दक्षिण अफ्रीका- यहां आपराधिक कानून (यौन अपराध और संबंधित मामले) संशोधन अधिनियम 2007 की धारा 14 नेक्रोफीलिया पर रोक लगाती है।



  • भारत में पहले भी सामने आए हैं नेक्रोफिलिया के मामले 




    • अगस्त 2022 में असम के उदलगुरी जिले में 23 साल के युवक ने नदी में नहा रही महिला को खींचकर उसकी हत्या कर दी थी। इसके बाद रेप किया था।


  • जून 2020 में लॉकडाउन के दौरान 32 साल के दुकानदार की महिला के साथ बहस हो गई थी। इसके बाद उसने गला रेतकर हत्या दी थी, फिर उसका रेप किया था।

  • अक्टूबर 2015 में गाजियाबाद में 3 लोगों ने 26 साल की महिला की कब्र खोदकर लाश निकाली और गैंग रेप किया था।

  • 2006 में कुख्यात निठारी सीरियल रेप और मर्डर केस में भी नेक्रोफीलिया का जिक्र हुआ था। मोनिंदर सिंह पंधेर के नोएडा स्थित आवास पर मदद करने वाले सुरिंदर कोहली ने नाबालिग की हत्या करने और उनके शवों के साथ रेप करना कबूला था।


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