UJJAIN. मध्य प्रदेश राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा का आज यानी 1 दिसंबर को 9वां दिन है। 85वें दिन यात्रा उज्जैन के पास सुरासा से सुबह 6 बजे शुरू हुई। यात्रा का स्वागत करने के लिए बड़ी संख्या में लोग हाथों में गुलाब लिए सड़क किनारे खड़े थे। यात्रा आगर मालवा की ओर जा रही है। राहुल के साथ उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत और बॉलीवुड एक्ट्रेस स्वरा भास्कर भी चल रही हैं। यात्रा घट्टिया क्षेत्र से होती हुई नजरपुर में लंच के लिए रुकेगी। दोपहर 3.30 बजे यात्रा दोबारा शुरू होगी।
गुरुवार को यात्रा करीब 21 किमी का सफर तय करेगी। भारत जोड़ो यात्रा 2 दिसंबर (शुक्रवार) आगर में एंट्री कर जाएगी। यहां से भी यात्रा सुबह 6 बजे शुरू होगी। इससे पहले बैंड और यात्री चलना शुरू करेंगे। राहुल गांधी के स्वागत के लिए कई जगह मंच बनाए गए हैं। यात्रा घट्टिया होती हुई घोंसला पहुंचेगी। यहां राहुल गांधी नुक्कड़ सभा को संबोधित करेंगे। नाइट स्टे झलारा गांव के सोयाबीन प्लांट में होगा।
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राहुल के साथ कौन चलेगा, ये सब दो दिन पहले तय हो जाता है
भारत जोड़ो यात्रा में कई बार राहुल गांधी आम लोगों से मिलते दिख रहे हैं। कभी वे किसी बच्चे के साथ होते हैं, कभी किसी स्टूडेंट, कभी संन्यासी तो कभी सफाईकर्मी के साथ। असल में यात्रा में जो दिख रहा है, वैसा सब कुछ इतना आसान नहीं है। जैसा दिखता है, वैसा होता नहीं है। राहुल अचानक किसी से नहीं मिलते और ना ही रास्ते में खड़े किसी शख्स को मिलने बुलाते हैं। यात्रा के दौरान कौन, कब, कैसे मिलेगा और कहां खड़ा होगा, ये सब पहले से तय होता है। मिलने वालों की पूरी जांच होती है। राहुल की भारत जोड़ो यात्रा की मैनेजमेंट टीम सब तय करती है। राहुल से मिलने वाले व्यक्ति एक दिन पहले ही तय हो जाते हैं।
राहुल के पास पहुंचने के लिए हर किसी को सिक्योरिटी से होकर गुजरना पड़ता है। राहुल की सुरक्षा में लगे सीआरपीएफ के जवान मिलने वाले से उसके मोबाइल फोन और दूसरे इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस ले लेते हैं। राहुल के साथ कोई सेल्फी भी नहीं ले सकता। राहुल के साथ फोटो भी टीम ही शूट करती है। बाद में राहुल उन्हें एक स्कैनर प्रिंट देते हैं, ताकि वे राहुल के साथ ली गई फोटो उसमें से अपलोड कर सकें।
राहुल मीडियापर्संस से माइक आईडी पर बात नहीं कर रहे
भारत जोड़ो यात्रा के दौरान ऐसा नहीं है कि राहुल गांधी मीडियाकर्मियों से मिल नहीं रहे। उन्होंने मीडिया पर्संस को साथ में पैदल चलने के लिए कहा है, लेकिन वे चैनल की आईडी पर बात नहीं कर रहे। वे पत्रकारों से बात कर रहे हैं। उनके मन की थाह ले रहे हैं, लेकिन रिकॉर्डेड बयान नहीं दे रहे। राहुल की रणनीति है कि वे जिस भी राज्य में जाएंगे, वहां व्यवस्थित तरीके से प्रेस कॉन्फ्रेंस करेंगे।