हर परीक्षा में ये 4 शख्स कराते रहे हैं Paper leak, जानें चारों पेपर सॉल्वर की इनसाइड स्टोरी

देशभर नीट 2024 पेपर लीक होने के बाद मचे बवाल के बीच एक चौंकाने वाली खबर सामने आ रही है। पेपर सॉल्वर गैंग पर पुलिस लगातार छापामार कार्रवाई कर रही है। आज हम आपको 4 ऐसे शख्स के बारे में बता रहे हैं, जिनका लगभर हर परीक्षा धांधली में नाम जुड़ा रहा है...

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Sandeep Kumar
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EXAM Paper leek: देश में NEET 2024 को लेकर जमकर बवाल मचा हुआ है। यह पहली बार नहीं है। इसके पहले भी एमपी व्यापमं परीक्षा ( mp vyapam exam ) घोटाले से लेकर यूपी में 7 साल में 8 भर्ती और योग्यता परीक्षाओं के पेपर लीक हो चुके हैं। इसके पीछे चार चेहरे ऐसे हैं, जिनका अक्सर पेपर लीक में नाम आता है। इनका नेटवर्क यूपी से लेकर बिहार, दिल्ली, मध्य प्रदेश और राजस्थान समेत देश के करीब 10 राज्यों में फैला था। पेपर लीक ( paper leek ) से लाखों युवाओं का करियर बर्बाद हुआ, लेकिन लचर कानून की वजह से माफिया को सजा नहीं हुई। आरोपी गिरफ्तार होते हैं। कुछ महीने जेल में रहते हैं और छूट जाते हैं। ये फिर दूसरी भर्ती परीक्षा का पेपर लीक कराते हैं।

पेपर लीक के 4 सुपर विलेन 

1.संजीव सिंह उर्फ मुखिया 

पेपर सॉल्वर गैंग में पहला नाम है बिहार के नालंदा के रहने वाले संजीव सिंह उर्फ मुखिया का। इसके ऊपर सभी में धांधली करने के आरोप हैं। परीक्षाओं में गड़बड़ी करके इसने बे-इंतेहा दौलत कमाई है। संजीव के पास नालंदा से पटना तक करोड़ों की संपत्ति है। बताया जा है कि ED ने राजीव नयन मिश्रा और संजीव सिंह उर्फ मुखिया की संपत्ति की जानकारी जुटाना शुरू भी कर दिया है। 

2.अब बारी पेपर लीक सरगना रवि अत्री की 

पेपर लीक मामले के एक गिरोह का सरगना है रवि अत्री। यूपी के गौतम बुद्धनगर के जेवर थाना इलाके के नीमका गांव का रहने वाला रवि बचपन से पढ़ने में होशियार था। वह 2007 में प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने राजस्थान के कोटा पहुंचा। वहां उसकी मुलाकात परीक्षाओं में नकल कराने वाले गिरोह के लोगों से हुई। रवि उनके बहकावे में आ गया। पहले सॉल्वर बन कर दूसरे की जगह परीक्षा दी, फिर पेपर लीक कराने लगा। 2012 में NEET पीजी पेपर लीक मामले में दिल्ली की दरियागंज क्राइम ब्रांच ने रवि को गिरफ्तार किया था। जेल से बाहर आते ही 2012 में ही SBI के स्टेनो परीक्षा का पेपर आउट कराया। इस मामले में दिल्ली पुलिस ने उसे गिरफ्तार किया और जेल भेज दिया।

3. प्रयागराज के अमोरा गांव का राजीव नयन

राजीव नयन मूल रूप से यूपी के प्रयागराज जिला के थाना मेजा के अमोरा गांव का रहने वाला है। राजीव ने भोपाल से इंजीनियरिंग की है। फिर उसने नौकरी नहीं की। भोपाल में ही करियर एंड प्लेसमेंट कंसल्टेंसी का ऑफिस खोल लिया। उसने ज्यादा पैसा कमाने के लिए परीक्षाओं में गड़बड़ी करने वाले कुछ लोगों से हाथ मिलाया। बाद में वह खुद गिरोह का सरगना बन गया। वह पहले NHM और यूपी TET पेपर लीक में शामिल हुआ और खूब पैसा कमाया। इन दोनों मामलों में राजीव नयन जेल गया। वहीं उसकी दोस्ती रवि अत्री से हुई। फिर दोनों ने मिलकर RO-ARO और पुलिस भर्ती के पेपर लीक कांड को अंजाम दिया। फिलहाल, राजीव नयन को भी एक महीने पहले मेरठ से गिरफ्तार किया गया और अब वह जेल में है।

4. डॉ. शरद सिंह पटेल पर NEET परीक्षा में गड़बड़ी का आरोपी 

डॉ. शरद सिंह पटेल मूल रूप से मिर्जापुर के चुनार पचेवरा कैलाहट का रहने वाला है। उसने साल 2012 में लखनऊ के किंग जॉर्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी से MBBS किया था। 5 साल पहले वो लखनऊ में वृंदावन योजना कॉलोनी के लवनेस्ट अपार्टमेंट में रहता था। 2021 में NEET के एग्जाम में हुई गड़बड़ी के मामले में मुख्य आरोपी था। कोर्ट से उसके खिलाफ वारंट भी जारी हुआ, लेकिन पुलिस पकड़ नहीं पाई।

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sandeep mishr

 

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