BHOPAL. अयोध्या राम मंदिर में 22 जनवरी को प्राण प्रतिष्ठा का आयोजन हो रहा है। राम मंदिर के उद्घाटन और प्राण-प्रतिष्ठा (Ayodhya Pran Pratistha) समारोह की तैयारियां अंतिम चरण में हैं। राम भक्तों में मंदिर को लेकर काफी उत्साह देखने को मिल रहा है। अब राम मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम पर BJP का मेगा प्लैन तैयार है। अयोध्या में राम मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा को लेकर सोशल मीडिया पर कई तरह की खबरें सर्कुलेट हो रही है। साथ ही कई तरह के सार्वजनिक और राजनीतिक विवाद भी सामने आ रहे है।
X पर क्षत्रिय_विहीन_राम_मंदिर कर रहा ट्रेंड
राम मंदिर की तारीख पास आते ही कई विवाद सामने आ रहे है। इस बीच सोशल मीडिया पर एक ट्वीट जमकर ट्रेंड कर रहा है और ये ट्वीट #क्षत्रिय_विहीन_राम_मंदिर है। X पर क्षत्रिय समाज के लोग इस तरह से ट्रेंड करवा रहे है कि राम क्षत्रिय थे, हम भी क्षत्रिय है। इसलिए हम उनके वंशज है और हमें रिप्रजेंटेशन चाहिए। हम राम के वंशज है तो हमें ही इससे दूर क्यों किया गया।
घेरे में राजकुमारी दीया कुमारी
इस विवाद के बीच बीजेपी सांसद दिया कुमारी को भी घेरा जा रहा है। दरअसल कुछ समय पहले राजकुमारी दीया कुमारी ने दावा किया था कि दुनियाभर में भगवान श्रीराम के वंशज हैं। इसमें मैं और मेरा परिवार भी शामिल हैं, हम भगवान श्रीराम के पुत्र कुश के वंशज हैं। दीया का कहना था कि उनके पास एक पत्रावली है। इसमें भगवान श्रीराम के वंश के सभी पूर्वजों का नाम क्रमवार दर्ज हैं। साथ ही उनके पास 9 दस्तावेज, 2 नक्शे रखे हैं, जिससे ये साबित होता है कि अयोध्या के जयसिंहपुरा और राम जन्मस्थान सवाई जयसिंह द्वितीय के अधीन ही थे। 1776 के एक हुक्म में लिखा था कि जयसिंहपुरा की भूमि कच्छवाहा के अधिकार में हैं। भगवान श्री राम के कुशवाहा वंश के 63वें वंशज थे। इसी तरह पूर्व राजकुमारी दीयाकुमारी भगवान श्री राम की 310वीं पीढ़ी है। इसी कारण दीया को भी घेरा जा रहा है। क्षत्रिय समाज के लोगों का कहना है कि आप खुद को राम का वंशज बताती रही हो, तो अब आप चुप क्यों है, रिप्रजेंटेशन क्यों नहीं मांग रही हो।
खड़गे का पीएम मोदी पर निशाना
पीएम नरेंद्र मोदी पर निशाना साधते हुए खड़गे ने कहा कि मणिपुर में दुर्भाग्यपूर्ण घटना हुई, लेकिन प्रधानमंत्री वहां नहीं गए। वे राम मंदिर साइट या बीच पर जाते हैं और फोटो सेशन कराते हैं। वे मुंबई या केरल जाते हैं, हर जगह जाते हैं, आप उनकी फोटो हर जगह देख सकते हैं। वे इस तरह फोटो खिंचवाते हैं, जैसे भगवान दर्शन दे रहे हों, लेकिन ये महापुरुष मणिपुर क्यों नहीं जाता? प्रेस कॉन्फ्रेंस में खड़गे ने ये भी कहा कि बीजेपी तो वैसे हमेशा ही दलित आदिवासियों की खूब बात करती है, तो जब राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू खुद आदिवासी है, तो वह खुद उनसे लाकोपर्ण क्यों नहीं करवाती।