NEW DELHI. भारत के दिग्गज उद्योगपति और टाटा ग्रुप के मानद चेयरमैन रतन टाटा को ऑस्ट्रेलिया के सर्वोच्च नागरिक सम्मान-'ऑर्डर ऑफ ऑस्ट्रेलिया' से नवाजा गया है। ऑस्ट्रेलिया के राजदूत ने इसकी ट्विटर पर जानकारी शेयर की है। ऑस्ट्रेलिया के एम्बेसडर (राजदूत) बैरी ओ फैरेल ने अपने ट्वीट में कहा कि भारत के साथ ही ऑस्ट्रेलिया में भी रतन टाटा का योगदान रहा है। वे दिग्गज बिजनेसमैन हैं। फैरेल ने ट्विटर पर कई फोटो भी शेयर किए हैं।
Ratan Tata is a titan of biz, industry & philanthropy not just in ????????, but his contributions have also made a significant impact in ????????. Delighted to confer Order of Australia (AO) honour to @RNTata2000 in recognition of his longstanding commitment to the ????????????????relationship. @ausgov pic.twitter.com/N7e05sWzpV
— Barry O’Farrell AO (@AusHCIndia) April 22, 2023
रतन टाटा का योगदान ऑस्ट्रेलिया में देखने मिला
ऑस्ट्रेलिया के एम्बेसडर फैरेल ने ट्विटर पर कई फोटो के साथ एक पोस्ट शेयर करते हुए लिखा कि भारत में रतन टाटा बिजनेस, इंडस्ट्री और परोपकार के दिग्गज हैं। इनके योगदान का असर ऑस्ट्रेलिया में भी देखने को मिला है। फैरेल ने आगे लिखते हुए कहा कि ऑस्ट्रेलिया और भारत के रिलेंशनशिप के लॉन्ग स्टैंडिंग कमिटमेंट के लिए 'ऑर्डर ऑफ ऑस्ट्रेलिया' से सम्मानित करते हुए खुशी हो रही है।
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रतन टाटा को चुना गया मानद अधिकारी
रतन टाटा को ऑस्ट्रेलिया-इंडिया बायलेट्रल रिलेशनशिप, ट्रेड, इन्वेस्टमेंट और परोपकारी के लिए ऑस्ट्रेलिया के जनरल डिवीजन में एक मानद अधिकारी के रूप में नियुक्त किया गया है। टाटा पॉवर ओडिशा डिस्ट्रीब्यूशन लिमिटेड (TPSODL) के एग्जीक्यूटिव राहुल रंजन ने अपनी लिंक्डइन पोस्ट के दौरान इस सेरेमनी की फोटोज भी शेयर की हैं।
रतन टाटा का दुनियाभर में योगदान
राहुल रंजन ने अपने पोस्ट में लिखा कि रतन टाटा का योगदान दुनियाभर में है। उनकी लीडरशिप क्वालिटी और विजन में कई लोगों ने अपने मंजिल को हासिल किया है। रतन टाटा ने अर्थव्यवस्था में बहुत बड़ा योगदान भी दिया है। साथ ही रतन टाटा ने परोपकार के लिए भी कई कार्य किए हैं।
करोड़ों रुपए का दे चुके हैं दान
रतन टाटा की कंपनी दुनिया में परोपकार के लिए भी जानी जाती है। ये लाखों करोड़ों रुपए दान कर चुके हैं। रतन टाटा ने कोरोना महामारी के दौरान 1500 करोड़ रुपए का दान दिया था। वहीं मीडिया रिपोर्ट्स की माने तो ये अपने कमाई का 60 से 70 फीसदी हिस्सा परोपकार के लिए दान कर देते हैं।