NEW DELHI. केंद्र सरकार का अंतरिम बजट 2024 (Union Budget 2024 ) पेश होने में अब कुछ दिन का वक्त बचा है। 1 फरवरी को केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Finance Minister Nirmala Sitharaman) मोदी सरकार का अंतरिम बजट 2024 पेश करेंगी। हालांकि वित्त मंत्री ने पहले ही साफ कर दिया है कि इस बार के बजट में बहुत खास ऐलान नहीं होने वाले हैं, लेकिन फिर भी लोगों को टैक्स छूट को लेकर बड़ी उम्मीदें हैं, जिसका ऐलान पहली फरवरी को हो सकता है।
वित्त मंत्री से ये उम्मीदें...
लोगों को उम्मीद है कि वित्त मंत्री इस बजट में राष्ट्रीय पेंशन योजना (NPS) में जमा अमाउंट विड्रॉल के समय टैक्स बनाने के लिए धारा 80C के तहत कटौती सीमा (Tax Deduction Limit) बढ़ाना भी शामिल करेगी। वहीं वेतन पाने वाले कर्मचारियों को होम लोन के रि-पेमेंट (Home Loan Repayment) के लिए एक अलग कटौती, सेक्शन 80 सी और 80 डी छूट में बढ़ोतरी की उम्मीद है।
जानिए... टैक्स से जुड़े कौन से 4 नियमों में बदलाव की उम्मीद
सेक्शन 80C के तहत सीमा छूट में बदलाव
मौजूदा समय में धारा 80CCI के मुताबिक, धारा 80C, 80CCC और 80 CCD(1) के तहत उपलब्ध कटौतियां एक साथ मिलाकर अधिकतम सालाना 1.50 लाख रुपए तक है। 2014 में 1.50 लाख रुपए की इस सीमा को 1 लाख रुपए से संशोधित किया गया था। ऐसे में उम्मीद है कि 2.50 लाख रुपए तक इसे किया जा सकता है।
टैक्स स्लैब में बदलाव
ओल्ड टैक्स रिजिम (Old Tax Regime) के तहत 2014 से टैक्स स्लैब में बदलाव नहीं हुआ, जिस कारण टैक्स का बोझ लोगों पर बढ़ रहा है। ऐसे में पुरानी टैक्स व्यवस्था के तहत टैक्स स्लैब में बदलाव होने की उम्मीद है।
पुरानी टैक्स व्यवस्था के तहत मौजूदा टैक्स स्लैब
- 3 लाख रुपए तक की आय पर कोई टैक्स नहीं लगेगा
- 3-6 लाख रुपए तक की आय पर 5 फीसदी टैक्स लगेगा
- 6-9 लाख रुपए तक की आय पर 10 फीसदी टैक्स लगेगा
- 9-12 लाख रुपए के बीच आय पर 15 फीसदी ब्याज
- 12-15 लाख रुपए के बीच आय पर 20 फीसदी ब्याज
15 लाख रुपए और उससे अधिक की आय पर 30 फीसदी टैक्स लगेगा
NPS विड्रॉल पर टैक्स छूट की मांग
वर्तमान में NPS से 60 फीसदी तक रकम निकालने पर टैक्स नहीं लगता है। मैच्योरिटी पूरा होने पर 60 फीसदी राशि तक निकालने की अनुमति दी जाती है। बाकी 40 फीसदी राशि से एन्युटी ली जाती है। यह एन्युटी टैक्स के तहत आती है। ऐसे में मांग है कि इसे टैक्स छूट के तहत लाया जाए।
होम लोन पर अलग टैक्स छूट की उम्मीद
आयकर अधिनियम की धारा 80 सी के तहत आवासीय घर के लिए होम लोन की मूल राशि के रि-पेमेंट के लिए टैक्स योग्य आय से 1.5 लाख रुपए तक की कटौती का दावा करने की अनुमति है। हालांकि, यह कटौती आप किसी अन्य योजनाओं के तहत भी ले सकते हैं, जिसमें जीवन बीमा योजना, सरकारी योजना और अन्य। ऐसे में उम्मीद की जा रही है कि लोगों को राहत देने के लिए होम लोन रिपेमेंट के लिए अलग से टैक्स छूट पेश की जा सकती है।