RAIPUR. छत्तीसगढ़ में कांग्रेस की दूसरी लिस्ट जारी करते हुए 10 सिटिंग विधायकों के टिकट काटते हुए नए चेहरों को प्रत्याशी बनाया है। टिकट कटने के बाद नाराज कई विधायकों ने बगावती तेवर दिखाना शुरु कर दिया है। कांग्रेस ने कोरबा जिले की पाली-तानाखार सीट से सिटिंग विधायक मोहितराम केरकेट्टा का टिकट काटकर दुलेश्वरी सिदार पर भरोसा जताया है। टिकट कटने के बाद विधायक मोहित राम केरकेट्टा बागी हो गए हैं। उन्होंने टिकट कटने के बाद कांग्रेस नेताओं पर साजिश रचने का आरोप लगाया है।
प्रशांत मिश्रा और चरणदास महंत पर लगाया आरोप
नोट कांड से चर्चा में आए विधायक मोहित राम ने अपनी टिकट कटने का ठिकरा विधानसभा अध्यक्ष डॉ. चरणदास महंत और कांग्रेस के प्रदेश महासचिव प्रशांत मिश्रा पर फोड़ा है। मोहित राम केरकेट्टा का कहना है कि प्रशांत मिश्रा और विधानसभा अध्यक्ष चरणदास महंत ने प्लानिंग कर उनका टिकट कटवाया है। इसके साथ ही उन्होंने यह भी घोषणा कर डाली कि वे निर्दलीय नहीं बल्कि किसी अच्छे दल से चुनाव लड़ेंगे। विधायक केरकेट्टा ने कहा कि वे अकेले नहीं रह गए हैं, उनके कार्यकर्ता उनके साथ हैं, कार्यकर्ताओं से बातचीत हो रही है, वे जिस पार्टी से तय करेंगे, मैं उसी पार्टी से चुनाव लड़ुंगा।
ज्योत्सना महंत की जीत में की थी मदद
विधायक मोहित राम केरकेट्टा ने दावा किया कि साल 2019 के लोकसभा चुनाव में ज्योत्सना महंत तानाखार से मिली रिकार्ड लीड की वजह से सांसद हैं। इस सीट से उन्होने मेहनत कर सांसद ज्योत्सना महंत को 62 हजार वोटों की रिकार्ड लीड दिलायी थी। लेकिन उनकी इस मेहनत को सांसद पति और विधानसभा अध्यक्ष डॉ. चरणदास महंत ने दरकिनार कर उनका टिकट काटने में अहम भूमिका निभाई है। मोहित राम ने आरोप लगाया कि डॉ. महंत की गोंडवाना पार्टी से भी सेटिंग है, जिसका लोकसभा चुनाव में फायदा लेने के लिए उन्होने गोण समाज की महिला प्रत्याशी को टिकट देकर उन्हे दरकिनार कर दिया। जिससे कार्यकर्ता और क्षेत्र की जनता काफी नाराज है।
9 हजार वोटों से जीते थे मोहित राम
मोहित राम केरकेट्टा किसान कांग्रेस के जिला अध्यक्ष रह चुके हैं। कांग्रेस ने 2018 विधानसभा चुनाव में उन्हें अनुसूचित जनजाति आरक्षित सीट पाली-तानाखार से अपना प्रत्याशी बनाया था। 9 हजार 656 वोटों से मोहित राम जीतकर आए थे। पिछले चुनाव में मौजूदा विधायक को 66 हजार 971 वोट मिले थे। उन्होंने गोंडवाना गणतंत्र पार्टी के प्रत्याशी हीरा सिंह मरकाम को हराया था। लेकिन इस बार कांग्रेस ने उनका टिकट काटते हुए दुलेश्वरी सिदार को प्रत्याशी बनाया है। टिकट कटने के बाद मौजूदा विधायक उनके कार्यकर्ता और समर्थक काफी नाराज चल रहे हैं।
नोट बांटने का वीडियो हुआ था वायरल
आचार संहिता लगने से पहले बीजेपी के प्रदेश महामंत्री ओपी चौधरी ने कांग्रेस के 2 विधायकों का वीडियो वायरल किया था। उसमें से एक विधायक मोहित केरकेट्टा थे, जबकि दूसरे विधायक चंद्रपुर के रामकुमार यादव थे। इस वीडियो में रामकुमार यादव नोटों के बंडल के साथ बैठे हुए दिखाई दिए थे। तभी से दोनों विधायकों की टिकट कटने की संभावना दिखने लगी थी, लेकिन रामकुमार यादव को दोबारा टिकट दे दिया गया। वहीं कार में बैठकर महिलाओं को नोट बांटते दिखाए गए विधायक केरकेट्टा की टिकट काट दी गई।
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नाराजगी स्वाभाविक, यह आंतरिक मामला : कांग्रेस
इधर, कांग्रेस इसे अपना आंतरिक मामला बताया है। प्रदेश प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा है कि टिकट कटने के बाद नाराजगी स्वाभाविक है। सभी नाराज लोगों से अलग-अलग स्तर पर बात हो रही है। कुछ दिनों में मामला शांत हो जाएगा। बता दे कि बुधवार 18 अक्टूबर को कांग्रेस ने अपनी दूसरी लिस्ट जारी कर 53 प्रत्याशियों के नामों का ऐलान कर दिया। इस लिस्ट में पार्टी हाईकमान ने 10 सिटिंग विधायको का टिकट काट दिया गया। टिकट नहीं मिलने के बाद अब नाराज विधायकों का गुस्सा भी सामने आ रहा है।