ओबीसी की ये जो राजनीति है वो 2023 के विधानसभा और 2024 के लोकसभा चुनाव का भी आधार बनेगी इसमें कोई शक नहीं है.. लेकिन आपको ये जानकर हैरानी होगी कि ओबीसी की लड़ाई एक राजनीतिक लड़ाई थी जाति की नहीं थी लेकिन देश के नेताओं ने इसे जातीय राजनीति में बदल दिया और ये राजनीतिक लड़ाई शुरू हुई थी डॉक्टर राम मनोहर लोहिया के एक नारे से...