ज्ञान का उजाला: ब्लाइंड होने के बावजूद 14 साल से पढ़ा रहे हैं, हजारों छात्रों का जीवन सवारा

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ज्ञान का उजाला: ब्लाइंड होने के बावजूद 14 साल से पढ़ा रहे हैं, हजारों छात्रों का जीवन सवारा

इंदौर.आज शिक्षक दिवस हैं। डॉ सर्वपल्ली राधाकृष्ण के सपने पर आज भी कई शिक्षक काम कर रहे है। इन्ही में से एक है इंदौर के ब्लाइंड टीचर अमित उपाध्याय, जो विगत 14 साल से बच्चों को पढ़ा रहे है।

 उनकी क्लास का रिजल्ट 100 फीसदी

अमित देख नहीं सकते है ,लेकिन उन्होंने अपनी इस कमजोरी को ताकत में तब्दील कर लिया। उनकी क्लास के बच्चे अपना 100% देते हैं। अमित बच्चों को बोल-बोलकर पढ़ाते है। कोशिश करते है कि ज्यादा से ज्यादा ज्ञान बच्चों के बीच बांट सके। एक सामान्य स्कूल में नेत्रहीन टीचर का पढ़ाना बड़ी बात है।

छात्रों का मनोबल ऐसे बढ़ाते

अमित क्लास 6वीं से लेकर 8वीं तक को विज्ञान पढ़ाते है। उनका पढ़ाने का तरीका काफी यूनीक है। पहले वो छात्रों को एक विषय देते है, फिर छात्र उसे कक्षा में पढ़कर सुनाते है। उसके बाद अमित उसे समझाते हैं। अमित अपने छात्रों का मनोबल बढ़ाने  की भी कोशिश करते हैं।

पहले खुद पढ़ते है और फिर दूसरों को

अमित अपने छात्रों को कहते है कि मैं देख नहीं सकता, फिर भी कोशिश करता हूं कि कोई गलती ना हो। अमित रोज पढ़ाने को आते है। वो बच्चों को ना सिर्फ न पढ़ाते हैं, बल्कि उन्हें कहानियां भी सुनाते हैं। अमित खुद ब्रेल लिपि से पढ़ते हैं और बच्चों को पढ़ाते हैं।

इंदौर ब्लाइंड टीचर ‘ब्लाइंड 14 साल से पढ़ा रहे है despite blind lives of thousand students 14 years The Sootr Blind teacher