Alirajpur. मध्य प्रदेश के आदिवासी बहुल अलीराजपुर जिले के नानपुर गांव में अनोखी शादी हुई। इस शादी में एक दूल्हे ने एक ही मंडप में तीन दुल्हनों के साथ जीने-मरने की कसम खाई। ये अनोखी शादी नानपुर गांव के मोरी फलिए में हुई। दूल्हे समरथ ने दुल्हन नान बाई, मेला और सकरी के साथ एक ही मंडप में शादी की। इस अनोखे विवाह को देखने लोगों की भीड़ लग गई। समरथ को इन तीनों लड़कियों के साथ अलग-अलग समय पर प्यार हुआ। अब तीनों ने एक साथ उसके साथ आदिवासी रीति-रिवाज से शादी की।
एक दूल्हे की तीन दुल्हन
शादी का ऐसा अनोखा कार्ड आपने कभी नहीं देखा होगा। pic.twitter.com/cV5mTOgYA8
— TheSootr (@TheSootr) May 2, 2022
2003 में हुई थी मंगनी
सोशल मीडिया पर इस विवाह की निमंत्रण पत्रिका और तस्वीरें वायरल होने के बाद यह शादी चर्चा का विषय बन गई है। नानपुर गांव के पूर्व सरपंच समरथ मौर्य ने फोन पर अपनी तीनों प्रेमिकाओं से एक साथ शादी की पुष्टि की है। उन्होंने बताया कि पहली प्रेमिका से उनकी मंगनी वर्ष 2003 में हुई थी और पिछले 15 साल से उनकी दो अन्य प्रेमिकाएं भी उनके साथ ही रह रही हैं।
जोरदार जश्न मनाया
चश्मदीदों ने बताया कि शादी में शामिल मेहमानों ने ढोल और मांदल (आदिवासियों का पारंपरिक बाजा) की थाप पर जनजातीय शैली का नृत्य कर जोरदार जश्न मनाया। स्थानीय लोगों के मुताबिक आदिवासियों के मांगलिक कार्यों में एक दम्पति के रूप में शामिल होने की सामाजिक मान्यता हासिल करने के लिए इस समुदाय के हर जोड़े के लिए जरूरी है कि पहले वे जनजातीय रीति-रिवाजों के अनुसार विवाह रचाएं।
लोगों ने कही ये बात
इस मौके पर लोगों ने बताया कि भारतीय संविधान का अनुच्छेद 342 आदिवासी रीति-रिवाज और विश्ष्टि सामाजिक परंपराओं को संरक्षण देता है। इसलिए अनुच्छेद के मुताबिक नानपुरके समरथ की एक साथ तीन दुल्हनों के साथ शादी करना गैर कानूनी नहीं। लोगों ने कहा कि हर शख्स को वैसे ही स्वीकार करना चाहिए, जैसा वो है। इस शादी की खासियत है कि तीनों महिलाएं सबकुछ जानते हुए भी बड़े प्रेम से एक साथ रह रही हैं। उनके बच्चे भी आपस में प्रेम से रहते हैं।