Indore: इंदौर की एक सिगरेट कंपनी, मीडिया समूह और उसके संचालक पर 1946 करोड़ की जीएसटी वसूली का नोटिस जारी किया है। डीआरआई और डीजीजीआई ने दो वर्ष पूर्व ऑपरेशन कर्क के तहत इन कंपनियों पर छापा मारा था। डीजीजीआई ने नोटिस इंदौर एलोरा टोबेको कंपनी, दबंग दुनिया प्रा.लि.और किशोर वाधवानी के साथ एजेंसी ने इसके साथ श्याम खेमानी, नितेश वाधवानी,अनमोल मिश्रा, धर्मेंद्र पिठादिया सहित 21 अन्य सहयोगियों के नाम लिखे है। इन फर्मों और व्यक्तियों पर जुलाई 2017 से जून 2020 तक टैक्स चोरी कर सिगरेट के अवैध निर्माण और वितरण के आरोप साबित होने के बाद विभाग ने यह नोटिस दिया है। वर्ष 2020 के मई और जून माह में डीजीजीआई ने आपरेशन कर्क के दौरान सिगरेट कंपनियों, गोदामों, मीडिया हाउस, वितरकों और पैकेजिंग की सामग्री बनाने वालों के यहां भी छापामार कार्रवाई की थी। इस पर कर चोरी के दायरे में आई कंपनियों को सिगरेट के लिए तंबाकू आपूर्ति करने की पुष्टि हुई है।
पूर्व में हुए थे चौकाने वाले खुलासे
गौरतलब है कि किशोर वाधवानी और उसकी गैंग द्वारा मात्र एक साल में ही 512 करोड़ रुपए की कर चोरी को अंजाम दिया गया था। डीजीजीआई की टीम पान मसाले में 242 करोड़ और सिगरेट में 270 करोड़ की टैक्स चोरी का खुलासा किया गया था। यह कर चोरी अप्रैल 2019 से मई 2020 तक की है। वाधवानी गैंग के सभी आरोपियों के पांच सालों के रिटर्न खंगाले गए थे। साथ ही पैकिंग मटेरियल सप्लायर और ट्रांसपोर्टर से पूछताछ कर पांच साल के परिवहन व माल सप्लाय की जानकारी जुटाई गई थी। बड़ी टैक्स डिमांड को देखते हुए विभाग ने संपत्तियों को अटैच कर दिया था। इंदौर में ऑपरेशन कर्क के द्वितीय चरण में सेंट्रल जीएसटी इंटेलिजेंस की टीम ने पहले से पान मसाला के अवैध कारोबार में शामिल सिंडिकेट का भंडाफोड़ किया था। छापेमारी के 26 लाख रुपये की पैकिंग सामाग्री गोदाम से बरामद हुई थी। साथ ही गिरोह के मास्टरमाइंड किशोर वाधवानी को मुंबई से गिरफ्तार किया गया था। ऑपरेशन 'कर्क' पहले चरण में डीजीजीआई भोपाल ने 09 से 12 जून, 2020 तक पान मसाला / तंबाकू के कई डीलरों और वितरकों की खोज की थी। इन लोगों के पास बिना जीएसटी भरे हुए पान मसाला और तंबाकू का स्टॉक किया था, जिसे जब्त कर लिया है। इस मामले में 400 करोड़ रुपये की टैक्स चोरी का अनुमान लगाया गया था।