सचिन त्रिपाठी, SATNA. सतना जिले में पान गुटखा की दुकान में नकली नोट खपाने का कारोबार बेधड़क फल फूल रहा है। जीआरपी ने 25 हजार 400 रुपये के नकली नोटों के साथ नाबालिग सहित तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया है। आरोपियों ने के खिलाफ जीआरपी ने मुकदमा दर्ज कर लिया है। सभी आरोपी नकली नोटों के लिए बदनाम सतना जिले के डागा गांव के रहने वाले हैं। पूर्व में भी यहां के कुछ युवकों को पुलिस नकली नोटों के साथ गिरफ्तार कर चुकी है।
200 का नोट निकला
बताया जाता है कि स्टेशन परिसर में गुटखा बेचने वाले के पास आरोपियों द्वारा खरीदी की गई। इसके एवज में नकली नोट दिया गया। फरियादी राधेश्याम खटीक निवासी प्रेमनगर ने 200 रू. के नोट को चेक किया तो वह नकली था। दूसरा नोट मांगने पर भाग गए। जिसके बाद उसने जीआरपी में शिकायत की। पुलिस ने इस मामले में अपराध कायम कर विवेचना में लिया। जीआरपी चौकी प्रभारी गोविंद त्रिपाठी ने बताया कि नकली नोट के कारोबार के संबंध में पुलिस अधीक्षक के निर्देश पर आरोपियों की तलाश की गई। हुलिया के 3 लड़के रेलवे के बाहर मेन रोड में मिले। पुलिस को देखकर भागे जिन्हें घेराबंदी कर पकड़ा। नाम पता पूछने पर, अनीश तिवारी पिता उदयभान तिवारी निवासी ग्राम डागा थाना रामनगर जिला सतना, रवि रावत पिता रामायण रावत निवासी गुलवार गुजारा थाना रामनगर जिला सतना एवं उसके साथ एक अपचारी बालक पकड़ा गया। तीनों से पूछताछ करने पर जुर्म स्वीकार किया।
नकली नोटों का सरगना फरार
नकली नोटों सरगना धीरज पिता दिनेश तिवारी निवासी डागा है। नकली नोट उसी से लिए गए थे। तीनों ने नकली नोट 200 रू. के बाजार में चलाना स्वीकार किया। तीनों के पास से 25,400 रू. के नकली नोट जप्त किये गए। इसमें एक ही नंबर के कई नोट पाये गये है। आरोपी गणों को गिरफ्तार कर न्यायालय पेश किया जायेगा। सरगना धीरज पिता दिनेश तिवारी निवासी ग्राम डागा थाना रामनगर जिला सतना की तलाश जारी है। धीरेन्द्र पर रामनगर थाने में प्रकरण वर्ष 2015 में दर्ज किया गया था। उन दिनों रामनगर पुलिस ने पवन तिवारी और दिवाकर चतुर्वेदी गिरफ्तार को गिरफ्तार किया था। जबकि धीरज फरार हो गया था