GWALIOR. दुनिया के साथ ग्वालियर में भी सूर्यग्रहण को लेकर एक तरफ जहाँ घरों में लोग पूजा पाठ में व्यस्त रहे वहीँ युवाओं में इसे अपनी आंखों से देखने को लेकर भी खासा उत्साह रहा। लोगों ने मैदान में इकट्ठे होकर एक्सरे फिल्म से इस खगोलीय घटना का नज़ारा देखा। दिन भर मंदिरों के पट बंद रहे वहीँ शाम को लोगों ने भी स्नान के बाद घरों में पूजा की और शाम को मंदिरों में सूतक हटने के बाद सफाई और आरती हुई।
सुबह ही लग गया था सूतक
कल लोगों ने दीवाली काफी उत्साह और धूमधाम के साथ मनाई लेकिन मंगलवार को सूर्य ग्रहण के चलते सूतक सुबह 4 बजे से लग गया था। ग्रहण सूतक की वजह से शहर सहित अंचल के सभी मंदिरों के पट बंद रहे और कोई शुभ काम नहीं हुआ। ग्रहण खत्म होने के बाद ही मंदिरों की सफाई कर इन्हें पवित्र किया गया । इसके बाद पूजा अर्चना शरू हुई और आरती की गयी। सूर्य ग्रहण की वजह से मंगलवार को दीपावली के दूसरे दिन होने वाली गोवर्धन पूजा भी नहीं हुई। गोवर्धन की पूजा भी अब बुधवार को भी होगी।
वर्ष का अंतिम सूर्यग्रहण था ये
ज्योतिषों के मुताबिक ये वर्ष का दूसरा एवं अंतिम सूर्य ग्रहण था , जो सूर्य और पृथ्वी के बीच चंद्रमा आ जाने के कारण होता है। भारत में सूर्य ग्रहण का स्पर्श काल अपरान्ह 4:29 बजे से शुरू हुआ ग्रहण का मध्यकाल 5:32बजे एवं मोक्ष 5:57 बजे हुआ ।सूर्य ग्रहण का सूतक लगभग 12 घंटे पहले लगता है इस कारण यह सुबह 4 बजे से सूतक काल में कोई भी शुभ कार्य नहीं हो सके। सुबह मंदिरों के पट नहीं खुले मंदिरों के कपाट बंद कर दिए गए हैं जो कि सूर्य ग्रहण के बाद ही खुले।
फूल बाग में जुटे उत्साही युवा
हालांकि ज्योतिष में सूर्य ग्रहण देखना निषिद्ध रहता है लेकिन वैज्ञानिक इसे सावधानी से देखने की बात कहते हैं। ग्वालियर में भी सूर्यग्रहण देखने को लेकर लोगों ,खासकर युवक और युवतियों में खासा उत्साह देखा गया। बड़ी संख्या में लोग सूर्यग्रहण शुरू होने से काफी देर पहले से ही फूलबाग मैदान में जुट गए थे और उन्होंने पूरे समय मौजूद रहकर एक्सरे फिल्म के जरिये इस खगोलीय नज़ारे को देखा। उन्होंने कहाकि ऐसा अवसर कभी -कभी ही आता है इसीलिए ही हम लोग सावधानी पूर्वक इसे देखने आये थे और उन्हें यह देखना काफी अच्छा लगा। इसके अलावा ज्यादातर घरों में लोगों ने टीवी के जरिये सूर्यग्रहण देखा।