मनोज चौबे, Gwalior. ग्वालियर के झांसी रोड इलाके में पिछले दिनों मिली मासूम के शव को लेकर पुलिस ने खुलासा किया है। इस मामलो को लेकर पुलिस ने पीटीएस तिघरा में पदस्थ एक हवलदार को हिरासत में लिया है। पुलिस का कहना है कि, आरोपी हवलदार, सैलून संचालक के बेटे का शव दतिया से ग्वालियर अपनी कार में लेकर आया था, और उसे यहां लाकर झांसी रोड इलाके के विवेकानंद चौराहा के पास फेंक दिया था। रविवार रात को दतिया और ग्वालियर पुलिस ने हवलदार को हिरासत में लेकर कार को जब्त कर लिया है। पूछताछ में हवलदार ने शव फेंकने की बात कुबूली है, लेकिन हत्या करने से इनकार कर रहा है। फिलहाल हवलदार को दतिया पुलिस पूछताछ के लिए अपने साथ ले गई है। इस मामले में नरबलि की आशंका जताई जा रही है। फिलहाल पुलिस मामले की जांच में जुटी हुई है।
यह कहानी सुना रहा आरोपी हवलदार
आरोपी हलवदार रवि का कहना है कि, बुधवार को दतिया में पीतांबरा मां की रथयात्रा ड्यूटी में गया था। वहां जाने के लिए अपनी कार MP07 CG-6380 ले गया था। दतिया से वापस आते समय साथी हवलदार चन्द्रशेखर शर्मा और अनीश भी लौटे थे। उन्हें रात 11 बजे झांसी रोड थाने के पास छोड़ दिया था। जब रवि ने घर जाकर कार देखी तो पीछे की सीट के नीचे लड़के का शव था। उसे देखकर वह बुरी तरह से डर गया। इसलिए चुपचाप लाश फेंकने निकल आया। उसे पता था रात 12 बजे पुलिसकर्मियों की बदली होती हैं। ऐसे में सड़क पर पुलिस नहीं मिलेगी। इसलिए तुरंत ही विवेकानंद तिराहा झांसी रोड पर पहुंचा और शव को फेंक कर भाग गया।
हत्या को नकार रहा हवलदार
पुलिस का कहना है कि, अभी तक उसने हत्या करना कुबूल नहीं किया है। पुलिस इस बात को मानने को तैयार ही नहीं है कि उसकी गाड़ी में सीट के नीचे शव था और उसे पता भी नहीं चला। जबकि दो पुलिसकर्मी और उसकी गाड़ी में पीछे बैठे थे। हवलदार रवि शर्मा को दतिया पुलिस अपने साथ ले गई है।
यह था मामला
ग्वालियर के झांसी रोड विवेकानंद चौराहा के पास कच्चे रास्ते पर 5 मई की सुबह एक बच्चे का शव मिलने की सूचना मिली थी। जिसकी पड़ताल में पुलिस को घटना के पास से रात को एक काले रंग की कार दिखी थी। इस कार की तलाश की जा रही थी। घटना के अगले दिन मृतक बच्चे की शिनाख्त दतिया के सैलून संचालक संजीव सेन के 8 वर्षीय बेटे मयंक के रूप में हुई थी। इसके बाद जांच में हवलदार की कार की पहचान हुई और उस तक पुलिस पहुंची।