जबलपुर में गरीब रिक्शे वाले को रेडक्रॉस के जरिए मुहैया कराई मदद, बच्चे को सौंपने तैयार नहीं हुआ पिता

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Rajeev Upadhyay
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जबलपुर में गरीब रिक्शे वाले को रेडक्रॉस के जरिए मुहैया कराई मदद, बच्चे को सौंपने तैयार नहीं हुआ पिता

Jabalpur. जबलपुर के रिक्शा चालक राजेश मंडल का वीडियो सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हुआ। इस वीडियो के वायरल होने के बाद हरकत में आए प्रशासन की टीम जब रिक्शे वाले के ठिकाने पर पहुंची तो कहानी कुछ और ही सामने आई थी। राजेश की मानें तो कुछ दिनों पहले कुछ लोगों ने उसे बच्चे को रिक्शे पर घुमाते हुए देखा था। जिसके बाद उसकी तस्वीरें खींचने के बहाने से बच्चे के कपड़े उतरवाकर घुमाने के लिए कहा। प्रशासन और चाइल्ड लाइन की टीम जब बच्चे को संरक्षण देने के लिए उसके पास पहुंची तो उसने बच्चा देने से इनकार कर दिया। उसका कहना था कि वह गरीब जरूर है लेकिन वही अपने बच्चे की परवरिश करेगा। चाइल्ड लाइन वालों के इरादे भांपकर राजेश मौके से गायब भी हो गया था। 





रेडक्रॉस के जरिए मुहैया कराई मदद





जिला प्रशासन ने रेडक्रॉस के जरिए राजेश को 10 हजार रुपए की आर्थिक मदद के साथ-साथ बच्चे के लिए कपड़े और खिलौने प्रदान किए हैं। वहीं फुटपाथ के बजाय अब राजेश का पूरा परिवार को जिसमें दो बच्चे, राजेश और उसकी सास शामिल हैं, उन्हें रैनबसेरा में रहने की जगह दिलवाई जा रही है। इसके अलावा रिक्शाचालक की बेटी के स्कूल में एडमिशन कराने की भी कोशिशें की जा रही हैं। वीडियो वायरल होने के बाद जिला कलेक्टर के निर्देश पर रेडक्रॉस, महिला एवं बालविकास विभाग समेत गैरसरकारी संगठनों के लोग भी बच्चे और रिक्शाचालक का हाल जानने मौके पर पहुंचा





सास के पास छोड़ता है बच्चों को





राजेश ने बताया कि वह रोजाना सवारी की तलाश में निकलने के दौरान बच्चों को अपनी सास के पास छोड़ता है। राजेश की पत्नी उसे छोड़कर लापता हो चुकी है। महिला बाल विकास की टीम की अधिकारी विनीता शर्मा ने बताया कि विभाग पूरे परिवार की काउंसलिंग करने की कोशिश कर रहा है। जिसके तहत बच्चे की मां को भी ढूंढकर उसे समझाइश दी जाएगी। साथ ही नजदीकी आंगन बाड़ी केंद्र को भी बच्चों का ध्यान रखने के लिए निर्देशित किया गया है।   



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