गणेश दुनगे, BURHANPUR. बुरहानपुर में प्रेमी और उसके दोस्तों से अपने ही पति की हत्या कराने वाली महिला को अब पूरी उम्र जेल की काल कोठरी में बितानी होगी। 14 सितंबर (बुधवार) को विशेष न्यायाधीश अतुल्य सराफ की अदालत ने हत्या की साजिश में शामिल पत्नी, उसके प्रेमी और उसके 2 दोस्तों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। हत्या का यह मामला इसलिए भी दिलचस्प था क्योंकि पूरी कहानी फिल्मी है। हत्या से पहले मृतक शंकर उर्फ कालू को हत्यारों ने शानदार पार्टी दी थी। इसमें चिकन, मटन, अंडा, मांडे से लेकर शराब मौजूद थी। शंकर को पहले आरोपियों ने जमकर शराब पिलाई और जब उसे नशा चढ़ गया तो बाइक पर बिठाकर शहर से करीब 12 किमी दूर जंगल में ले जाकर तीन आरोपियों ने उसकी हत्या कर दी। हत्या भी फिल्मी अंदाज में की। पहले उसके गले में रस्सी डालकर गला घोंटा। इसके बाद भी हत्यारों का मन नहीं भरा तो उसके गले पर ब्लेड से कई घाव किए थे। विशेष लोक अभियोजक दीपक बी उमाले का कहना है कि जिले के इतिहास में संभवत: यह पहला मामला होगा जब एक साथ इतने लोगों को उम्रकैद की सजा सुनाई गई है।
पति की मारपीट ने बनाया बेवफा
बुरहानपुर शहर के आलमगंज क्षेत्र में रहने वाली क्षमा बाई सांवले से उसका पति शंकर उर्फ कालू आए दिन मारपीट करता था। पिटाई से परेशान महिला बेवफाई पर उतर आई। क्षमा बाई एक फैक्ट्री में काम करने जाती थी। वहां उसकी मुलाकात आलमगंज के ही जीतू उर्फ जितेंद्र महाजन से हुई। धीरे-धीरे यह दोस्ती प्यार में बदल गई। जिसके चलते क्षमा बाई ने उसे अपना दर्द बयां किया। जीतू को अपनी प्रेमिका पर उसके पति के किए जा रहे जुल्म बर्दाश्त नहीं हुए। उसने प्रेमिका से कहा कि वह कोई न कोई रास्ता निकालेगा। इसके बाद उसने योजनाबद्ध तरीके से पहले शंकर से दोस्ती की और घर आना-जाना शुरू कर दिया। अच्छी दोस्ती हो जाने पर एक दिन उसने शंकर को भैरव बाबा मंदिर के पास शानदार पार्टी देने की बात कही। शंकर के राजी होने पर जीतू 1 अप्रैल 2019 को अपने साथी हमीदपुरा निवासी गोकुल पाटिल, छोटा बोरगांव निवासी किशोर सोनी के साथ पार्टी में पहुंचा। यहां पर उन्होंने शंकर को जमकर शराब पिलाई। इसके बाद उसे बाइक पर जबरन बैठाकर ठाठर बलडी क्षेत्र के जंगल में ले गए और रस्सी से गला घोंट दिया। साथ ही गले में ब्लेड से कई घाव कर दिए। इससे मौत हो गई।
ये साक्ष्य बने थे आधार
विशेष लोक अभियोजक दीपक बी उमाले ने बताया कि ठाठर गांव के कोटवार से शव पड़े होने की सूचना मिलने पर निंबोला पुलिस ने जांच शुरू की थी। पुलिस ने गांव के आधा दर्जन से ज्यादा साक्षियों के अलावा क्षमा और जीतू के बीच मोबाइल पर हुई बातचीत के काल डिटेल, शहर में लगे सीसीटीवी कैमरों के फुटेज, पोस्टमार्टम रिपोर्ट पेश किए। यही साक्ष्य चारों आरोपियों की सजा का आधार बने।