उज्जैन. कहा जाता है कि भगवान के दर पर ना तो कोई राजा है और ना ही प्रजा। सब एक हैं। लेकिन उज्जैन के महाकाल मंदिर में ऐसा दिखा नहीं। बीजेपी नेता कैलाश विजयवर्गीय, उनके बेटे विधायक आकाश और रमेश मेंदोला 13 अगस्त को भगवान महाकाल दर्शन पहुंचे। इनकी वजह से भस्म आरती आधा घंटे लेट हो गई। नेताओं के मंदिर में आते ही प्रशासन ने सभी गेट बंद कर दिए।
पुजारियों तक को रोक दिया, आईकार्ड दिखाने पर भी नहीं माने
सुबह 4 बजे भस्म आरती करने जब मुख्य पुजारी अजय गुरु और अन्य पुजारी गेट नंबर चार पर पहुंचे तो उन्हें रोक दिया गया। उन्होंने नाराजगी जाहिर की। बताया जा रहा है कि इस दौरान मंदिर के CCTV कैमरे भी फ्रीज कर दिए गए थे। मंदिर के अंदर कैलाश से पूछा गया कि गेट पर ताला लगा दिया गया है, इस पर वे कुछ नहीं बोले और आगे चले गए।
पुजारी नाराज, बोले- गर्भगृह में किसी को जाने की अनुमति नहीं
पुजारियों का कहना है कि प्रशासन ने पंडे-पुजारी के अलावा किसी और को गर्भगृह में जाने की अनुमति नहीं दी है। ऐसे में नेताओं को किसके आदेश से गर्भगृह तक जाने दिया गया, इसकी जांच हो। पहले पुजारियों को 4 नंबर गेट पर रोका गया। कुछ देर बाद आगे जाने दिया गया तो सूर्यमुखी द्वार पर रोक दिया गया। यहां पर तैनात वाणिज्यिक कर अधिकारी दिनेश जायसवाल से अजय पुजारी ने रोकने का कारण पूछा तो वे बहस करने लगे। इसी बीच पुजारियों ने सभा मंडप में कैलाश विजयवर्गीय के साथ आकाश और रमेश मेंदोला को देखा तो वे भड़क गए। कहा कि इसकी मुख्यमंत्री से शिकायत करेंगे।
भस्म आरती में एक साल से श्रद्धालुओं को नो एंट्री
कोरोना प्रोटोकॉल के कारण महाकाल मंदिर में पिछले एक साल से भस्म आरती में किसी भी श्रद्धालु को प्रवेश नहीं दिया जा रहा। शुक्रवार सुबह भी 3 बजे मंदिर के पट संजय पुजारी ने खोले और बाद में मंदिर के सभी द्वारों पर ताले लगा दिए गए। CCTV और अन्य कैमरे का लाइव भी फ्रीज कर दिया गया था।