मध्य प्रदेश की शिवराज सिंह ( Shivraj Singh) सरकार ने भगवान परशुराम की मूर्तियां प्रदेश के कई जिलों में लगाने का निर्णय लिया है। जिस पर राजनीति शुरू हो गई है। इसको लेकर पूर्व मंत्री और विधायक पीसी शर्मा ने बयान जारी किया। उनका कहना है कि 4 मार्च 2021 को प्रदेश सरकार ने विवादित और त्रुटि पूर्ण आदेश जारी किया है। यह निर्णय भगवान परशुराम की मूर्तियों को चौराहे पर लगा का है। जिसका पीसी शर्मा ने इसका विरोध किया है।
सरकार ने आदेश जारी किया
गौरतलब है कि 4 मार्च 2021 को नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग के सयुक्त संचालक आरके कार्तिकेय ने निर्देश जारी किए थे। इसमें 16 जिलों के कलेक्टर और नगर पालिक निगम के आयुक्त को भगवान श्री परशुराम की मूर्ति स्थापित करने के संबंध में कहा गया था। इसमें संस्कृति विभाग की तरफ से प्रमुख चौराहों में भगवान श्री परशुराम की मूर्ति स्थापित करने का उल्लेख का जिक्र किया है। जिस पर आवश्यक कार्रवाई करने की बात कही गई है। ये मूर्तियां भोपाल, इंदौर, ग्वालियर, मुरैना, खंडवा, बुरहानपुर, उज्जैन, देवास, रतलाम, सागर, सिंगरौली, सतना, जबलपुर, कटनी, छिंदवाड़ा, रीवा जिलों में लगेगी।
पूर्व मंत्री पीसी शर्मा का आरोप
पीसी शर्मा ने कहा कि भगवान परशुराम (Parashuram) की मृर्ति चौराहे पर लगाना उनका अपमान करना है। यह ब्राह्मण समाज का अपमान है। क्योंकि भगवान परशुराम की मृर्ति मंदिरों के अंदर होती है। जहां पुजारी उनकी पूजा कर सके। लेकिन प्रदेश सरकार ने चौराहे पर मृर्ति लगाने के निर्देश दिए गए है जैसे नेताओं की लगी रहती है। शर्मा ने कहा कि मैं मुख्यमंत्री और प्रशासन से मांग करता हूं कि त्रुटि पूर्ण आदेश को तुरंत वापस लिया जाए। नहीं तो पूरा का पूरा ब्राह्मण समाज इसका विरोध करेंगा।