Ujjain. अब महाकालेश्वर मंदिर में भस्म आरती के दर्शन करना आसान होगा। 13 जून से प्रशासन नई व्यवस्थाएं लागू कर रहा है। अब सभी भक्त लाइन में लगकर दर्शन करेंगे। इससे पहले यह व्यवस्थाएं 2016 के सिंहस्थ में लागू हुई थी।
9 जून 2022 को महाकालेश्वर मंदिर प्रबंध समिति ने बैठक की थी। बैठक में समिति के अध्यक्ष आशीष सिंह ने बताया अनुमति ना मिलने पर कई भक्त भस्म आरती के दर्शन नहीं कर पाते हैं। पहले की तरह ऑनलाइन और ऑफलाइन की व्यवस्था भी जारी रहेगी। जिन भक्तों को परमीशन नहीं मिलेगी, उनके लिए बैरिकेडिंग की 3 लाइन की फैसिलिटी दी जाएगी। अनुमति नहीं मिलने पर भक्त इन बैरिकेडिंग लाइंस से होते हुए भस्मारती के दर्शन कर सकेंगे। परमीशन लेने वाले भक्त मंदिर परिसर में बैठ सकेंगे।
7 दिन का ट्रायल फेज
इस व्यवस्था को 7 दिन तक ऑन ट्राई देखा जाएगा। यदि व्यवस्था सही तरह से चलती रही तो हमेशा जारी रहेगी। भस्म आरती के दर्शन करते हुए सभी भक्त बाहर निकलते जाएंगे। अब भक्तों को परमीशन और शुल्क देने की जरूरत नहीं होगी। जो भक्त परमीशन लेकर आएंगे, उन्हें बैठने की सुविधा भी दी जाएगी।
वर्तमान व्यवस्था
वर्तमान में भक्त भस्म आरती के लिए ऑनलाइन और ऑफलाइन बुकिंग कर अनुमति लेते हैं। रोज 2 हजार लोग भस्म आरती के दर्शन के लिए आते हैं, पर सभी को अनुमति नहीं मिल पाती। कोरोना महामारी के चलते सिर्फ 1500 लोगों को ही एंट्री दी जाती है। बुकिंग शुल्क 200 रुपए है। 2016 के सिंहस्थ की भीड़ को देखते हुए यह नियम बनाए थे। इस व्यवस्था के चलते बाहर से आए श्रद्धालुओं से कई लोग पैसे ऐंठते थे। अब नई व्यवस्था में इस पर भी रोक लगेगी। अब नई व्यवस्था में भक्त फ्री में दर्शन कर सकेंगे।
महाकाल रथयात्रा
महाकाल मंदिर प्रबंध समिति बैठक में महाकाल रथयात्रा निकालने का भी प्रस्ताव दिया गया। इस पालकी को श्रावण मास में निकालने की बात की गई। पालकी की ऊंचाई बढ़ाई जाएगी। मंदिर के पुरोहितों और पुजारियों से चर्चा की जाएगी।