सागर. बुंदेलखंड मेडिकल कॉलेज (Bundelkhand Medical College), सागर (Sagar) में दीपावली की रात डॉक्टरों की एक और अमानवीयता सामने आई। यहां एक तरफ अस्पताल में भर्ती एक प्रसूता की हालत अचानक खराब होने लगी। थोड़ी ही देर में तड़प-तड़प कर उसकी मौत हो गई। वहीं, दूसरी तरफ डॉक्टर लेबर रूम के गेट पर आतिशबाजी कर दिवाली (Deepawali) मनाते रहे। आतिशबाजी इतनी अधिक की कि पटाखों का धुआं लेबर रूम के अंदर भरा गया। प्रसूता के परिजन डॉक्टरों (Doctor) से इलाज के लिए गुहार लगाते रहे। परिजन का आरोप है कि उन्होंने ऐसा इंजेक्शन दिया कि वह दर्द से और ज्यादा कराहने लगी। कुछ ही देर बाद उसने दम तोड़ दिया।
क्या है पूरा मामला
मृत प्रसूता, सागर शहर के पंत नगर की रहने वाली थी। जिसका नाम पूजा आठया () है। पूजा की पहली डिलिवरी होनी थी। इसके लिए पूजा को तीन अक्टूबर के दिन बुंदेलखण्ड मेडिकल कॉलेज में भर्ती कराया गया था। 4 अक्टूबर की सुबह पूजा ने एक स्वस्थ बच्चे को बीएमसी में जन्म दिया। शाम के समय पूजा की तबीयत खराब होने लगी। परिजनों ने वार्ड में तैनात डॉक्टर को बताया, तो डॉक्टर ने पूजा को एक इंजेक्शन दिया। कुछ देर के बाद पूजा की हालत और बिगड़ने लगी और रात 12 बजे के लगभग पूजा ने दम तोड़ दिया।
PM रिपोर्ट के बाद कार्रवाई शुरू करेंगे- CSP
मृतक के परिजनों ने आरोप लगाते हुए कहा कि डॉक्टर के द्वारा गलत इंजेक्शन लगाने से पूजा की मौत हुई है। 5 अक्टूबर की सुबह बीएमसी में पूजा के शव का पोस्टमार्टम कराया गया। आक्रोशित परिजनों को देखते हुए पोस्टमार्टम हाउस में सीएसपी रविंद्र मिश्रा, गोपालगंज टीआई सहित अन्य पुलिसकर्मी पहुंचे। सीएसपी ने कहा कि पीएम रिपोर्ट आने के बाद आगे की कार्रवाई शुरू की जाएगी।
लेबर रूम के बाहर पटाखे चलाते रहे डॉक्टर
मृतका के पति ने साफ तौर मेडिकल कॉलेज के डॉक्टरों पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने कहा कि डॉक्टरों द्वारा गलत इंजेक्शन लगाने के कारण मेरी पत्नी की मौत हुई है। अब इस नवजात शिशु का आगे कैसे लालन-पालन होगा। इस मामले में मेडीकल कॉलेज (BMC) मीडिया से बात करने तैयार नहीं है। डॉक्टरों की लापरवाही का एक वीडियो सामने आया है। जिसमें लेबर रूम के बाहर बीएमसी स्टाफ द्वारा दीपावली पर की गई आतिशबाजी दिख रही है।