Shivpuri. शिवपुरी में रिश्वतखोर तहलीलदार को लोकायुक्त पुलिस ने रंगे हाथ गिरफ्तार किया है। आरोपी तहसीलदार प्रमाणपत्र के ऐवज में डेढ़ लाख रुपये की रिश्वत मांग रहा था। उसे 1 लाख रुपए लेते हुए रंगेहाथ पकड़ा गया है। जानकारी के अनुसार जिले के खनियाधाना के ग्राम भरसूला से सरपंच पद से विजयी प्रत्याशी उमाशंकर लोधी से विजय प्रमाण पत्र देने के एवज में खनियाधाना तहसीलदार सुधाकर तिवारी ने 3 लाख रुपये की मांग की थी, जिसमें फरियादी द्वारा बातचीत के बाद डेढ़ लाख रुपये में सौदा तय हुआ था जिसकी पहली किस्त के ऐवज में 50 हजार रुपये की रकम ले ली गई थी व दूसरी किस्त आज मंगलवार को खनियाधाना तहसीलदार को एक लाख रुपये की दी जा रही थी तभी मौके पर लोकायुक्त पुलिस ने रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया। वहीं फरयादी का कहना हैं कि में सरपंच के चुनाव 5 मतों से जीतने के बाद, जब प्रमाण पत्र लेने गया तो तहसीलदार ने तीन लाख रुपये की मांग की,जोकि 1 लाख पचास हजार में सेटल हो गई थी जिसकी पहली क़िस्त 50 हजार में दे चुका हूं, आज दूसरी क़िस्त देनी थी। वहीं लोकायुक्त प्रभारी का कहना हैं कि हमारे पास शिकायत आई थी कि खनियाधाना तहसीलदार प्रमाण पत्र देने के एवज में 1लाख पचास हजार की रिश्वत मांग रहा हैं, जिस पर आज कार्यवाही करते हुए तहसीलदार को एक लाख रुपये की रिश्वत लेते रंगेहाथों गिरफ्तार कर मामला दर्ज किया गया हैं।
तहसीलदार ने कॉल कर बुलाया था
उमाशंकर लोधी ने बताया कि तहसीलदार तिवारी ने उन्हें काल कर कहा था कि यहां पर कुछ गड़बड़ होने वाली है। आप मतदान केंद्र पर आ जाओ। जब मैं वहां पहुंचा तो तहसीलदार ने कहा कि मैं मदद करूंगा लेकिन सामने वाली पार्टी 1.5 लाख रुपए देने के लिए तैयार है। इसके बाद उन्होंने तीन लाख की मांग की। इस पर मैंने कहा कि इतने रुपए में नहीं दे सकता हूं। मेरा चुनाव में खर्चा हो गया है, किसी तरह एकाध लाख की व्यवस्था कर पाऊंगा। फिर मामला डेढ़ लाख में तय हो गया और जीत का प्रमाण पत्र देने के लिए पेशगी के रूप में 50 हजार रुपए भी तहसीलदार ने पहले ले लिए। इसके बाद लोकायुक्त में शिकायत की तो काल रिकार्ड किए गए जिसमे डेढ़ लाख में सौदा तय हो गया। इसके बाद लोकायुक्त टीम ने रणनीति बनाई और मंगलवार सुबह उमाशंकर लोधी को 1 लाख रुपए रंग लगाकर तहसीलदार को देने के लिए तहसीलदार के आवास कोटा बस स्टैण्ड के पीछे भेजा। उमाशंकर लोधी एक लाख रुपए लेकर तहसीलदार के आवास में पहुंचे और उन्हें रिश्चवत की रकम दी। इसके बाद तुरंत पास में मौजूद लोकायुक्त की टीम आवास में पहुंची और तहसीलदार को रंगे हाथों एक लाख रुपए के साथ पकड़ लिया। इसके बाद उनके हाथ धुलवाए गए तो उनके हाथ रंग गए। इसके बाद टीम ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया।