छतरपुर. यहां कि एक 60 वर्षीय महिला को बगैर किसी जांच के कोरोना संक्रमित बता दिया गया। जबकि महिला की सैंपलिंग ही नहीं हुई। मामला गौरिहार ब्लॉक अंतर्गत आने वाले खड्डी गांव का है। पीड़ित महिला रामपति विश्वकर्मा ने बताया कि वह पिछले 2 महीने से अस्पताल नहीं गई है, और ना ही किसी ने उसका कोरोना सैंपल लिया है। इसके बावजूद 9 जनवरी को महिला को पॉजिटिव बता दिया गया। इसके बाद स्वास्थ्य विभाग ने गांव पहुंचकर बैरिकेडिंग कर दी। बहू को बताया कि वह कोरोना संक्रमित है, उसने टीम को समझाया कि इन्होंने सैंपलिंग ही नई कराई तो पॉजिटिव कैसे हो गई?
राशन की दुकान बंद: बुजुर्ग महिला का आरोप है कि गांव में अफवाह फैली हुई है। इस वजह से घर में रखी दुकान चलना भी बंद हो गई। वह अपनी बकरियों को चराने भी नहीं जा पा रही है। इसकी वजह से एक बकरी की मौत हो गई। महिला का बेटा दिल्ली में मजदूरी करता है, और घर में खौफ का माहौल होने के कारण बहू भी घर छोड़कर मायके चली गई। इस बीच 15 जनवरी को स्वास्थ्य विभाग ने महिला के घर एक बीएमओ कार्यालय से जारी हुई एक डिस्चार्ज स्लिप भेजी दी है। इसमें बताया गया कि 15 जनवरी से आपको डिस्चार्ज कर दिया गया है। महिला को स्वास्थ्य विभाग की टीम ने अगले एक सप्ताह तक कोरोना के नियमों का पालन करने की सख्त हिदायत दी गई है।
इस मामले में छतरपुर CMHO विजय पथोरिया जांच के बाद नियमानुसार कार्रवाई करने की बात कर रहे हैं। गौरिहार स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही का यह कोई पहला मामला नहीं है। इसके पहले भी गौरिहार कस्बे के वार्ड नंबर 10 की एक 70 वर्षीय बुजुर्ग महिला को बगैर किसी सैंपल के कोरोना पॉजिटिव बता दिया गया।