संजय गुप्ता, Indore. इंदौर में छिंदवाड़ा की कोतवाली पुलिस ने बैतूल के चिचौली में पदस्थ महिला एवं बाल विकास विभाग के परियोजना अधिकारी और उसके साथी को गिरफ्तार कर लिया है। यह दोनों क्रिप्टो करंसी में पैसा लगाने के बाद पैसा डूबने पर अपने ही साथी एक अन्य परियोजना अफसर से अतिरिक्त पैसा मांग कर उसे ब्लैकमेल कर रहे थे। इस तरह ब्लैकमेलिंग और दबाव के चलते अफसर ने सुसाइड कर लिया था।
यह है मामला
बैतूल के चिचौली में पदस्थ रहे परियोजना अधिकारी निर्मल सिंह ठाकुर और उनके एक साथी निर्मल विश्वकर्मा को छिंदवाड़ा पुलिस ने इंदौर से गिरफ्तार किया है। दरअसल, छिन्दवाड़ा में पदस्थ रहे परियोजना अधिकारी मनोज पुत्र सूफाजी वानखेड़े ने 29 दिसंबर 2022 को सुसाइड कर लिया था। वानखेड़े के सुसाइड केस में इसी विभाग के परियोजना अधिकारी निर्मल सिंह ठाकुर और उनके एक साथी निर्मल विश्वकर्मा की भूमिका सामने आई थी।
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अन्य परियोजना अधिकारी मनोज को कर रहे थे ब्लैकमेल
निर्मल सिंह ठाकुर और निर्मल विश्वकर्मा ने क्रिप्टो करंसी के हायपर फंड में पैसा मनोज के कहने पर लगा चुके थे। जब पैसा डूब गया तो मनोज से अतिरिक्त पैसा मांग कर उसे ब्लैकमेल कर रहे थे। इनके दबाव में मनोज वानखेड़े ने सुसाइड कर लिया था। सुसाइड नोट और वीडियो के आधार पर पुलिस ने दोनों को आरोपी बनाया। तभी से यह लोग फरार चल रहे थे।
क्या है क्रिप्टो करेंसी
क्रिप्टो करेंसी डिजिटल करेंसी है, जिसके लिए कई देशों की सरकार ने लोगों को चेतावनी जारी की है। इसके माध्यम से लोग अपना पैसा निवेश करते हैं। लेकिन पैसे डूबने के कई मामले सामने आए हैं। हाल ही में आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने बिटकॉइन जैसे सट्टा उपकरणों पर प्रतिबंध लगाने की वकालत करते हुए कहा था कि निजी क्रिप्टो करेंसी की वजह से अगला वित्तीय संकट आ सकता है। इस पर प्रतिबंध लगाना जरूरी है।