संजय गुप्ता, INDORE. इंदौर में प्रवासी भारतीय सम्मलेन के समापन समारोह में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बैठक व्यवस्था को लेकर हुई असुविधा के लिए अतिथियों से हाथ जोड़कर माफी मांगी। सीएम शिवराज ने कहा कि पीएम मोदी जी की लोकप्रियता से काफी लोग आ रहे थे, मैं हाथ जोड़कर माफी चाहता हूं, हॉल छोटा पड़ गया।
10 जनवरी को बिगड़ी थी बैठक व्यवस्था
प्रवासी भारतीय सम्मेलन के दौरान 10 जनवरी को प्रशासन की बैठक व्यवस्था धराशायी हो गई। हालत ये थी कि डेढ़ हजार से ज्यादी प्रवासी भारतीय हॉल में प्रवेश नहीं पा सके और उनके साथ जमकर धक्कामुक्की हुई। हाल ऐसा रहा कि लंदन के डिप्टी मेयर (बिजनेस) राजेश अग्रवाल जब पौने बजे पहुंचे तो उन्हें भी अंदर नहीं जाने दिया गया, जबकि पीएम के साथ वे लंच में आमंत्रित थे, बाद में किसी अधिकारी ने उनके अंदर जाने की व्यवस्था कराई।
जमैका का पूरा दल नहीं जा सका था अंदर
जमैका के प्रतिनिधि प्रशांत सिंह ने तो यहां तक कह दिया था कि जो सरकार 3 हजार लोगों के बैठने की व्यवस्था नहीं कर सकती, वो ग्लोबल पावर कैसे बनेगी। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को तत्काल बर्खास्त कर देना चाहिए, हालत यह रही कि जमैका के मंत्री बाहर बैठे हुए हैं। उधर अमेरिका दल में शामिल कई महिलाओं को भी एंट्री नहीं मिली और उन्हें अधिकारियों ने कह दिया कि वो लिंक दी गई है। टीवी पर आप कार्यक्रम देख लो। इस पर वे और भड़क गई और उन्होंने कहा कि इतनी दूर से हम टीवी पर कार्यक्रम देखने के लिए नहीं आए थे।
अधिकारियों को पहले से पता था लोग ज्यादा हैं, फिर भी नहीं की थी व्यवस्था
ऐसा नहीं है कि अधिकारियों को इसकी जानकारी नहीं थी। कितने डेलीगेट्स आ रहे हैं, इसका पूरा रजिस्ट्रेशन चार्ट उनके पास मौजूद था। पहले से पता था कि मुख्य आयोजन के दिन 3500 से ज्यादा डेलीगेट्स आएंगे। इस पर प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान निगमायुक्त प्रतिभा पाल से सवाल भी हुआ था, जिसमें उन्होंने कहा कि 2200 की सिटिंग व्यवस्था है और जो पहले आएगा, सीट पहले पाएगा, बाकी लोगों को अन्य जगह, बाहर हॉल में बैठना होगा।
पुलिस ने दिखाई सख्ती, साढ़े 8 बजे ही बंद कर दिए थे बैरीकेड्स
एक समस्या पुलिस बल की ओर से आई थी, उन्होंने पीएम की सुरक्षा को देखते हुए साढ़े आठ बजे से ही बैरीकेड्स लगा दिए और प्रवेश बंद कर दिया। जो लोग इसके पहले आए, उन्हें ही एंट्री मिल सकी जबकि कार्यक्रम सुबह साढ़े 10 बजे से था। अतिथियों को भी 1 घंटे पहले यानी साढ़े नौ बजे तक आने के लिए कहा गया था लेकिन तय समय से पहले ही बैरीकेड्स लगा दिए गए। इसके चलते प्रवेश को लेकर जमकर धक्कामुक्की हुई और जो समय का पाबंद एनआरआई है, उन्हें बाहर कर दिया गया। कुछ प्रवासियों के परिजन बाहर रह गए और वे अंदर आ गए, ऐसे में उन्होंने भी मुख्य हॉल में जमकर गुस्सा निकाला और कहा कि इस तरह से सम्मान नहीं होता है।
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कांग्रेस ने कहा था सरकार माफी मांगे
कांग्रेस ने भी इस मौके को लेकर जमकर हल्ला बोला था। विधायक संजय शुक्ला ने कहा कि ये प्रवासी भारतीयों का अपमान है। इस व्यवस्था के लिए सरकार माफी मांगे। उधर आयोजन के दौरान सीएम शिवराज सिंह चौहान को इन हालात का पता चल चुका था, इसलिए उन्होंने अपने उद्बोधन के दौरान ही कहा था कि हॉल छोटा है और दिल बड़ा है।