Jabalpur. मध्यप्रदेश में कृषि उपज मंडी में चुनाव न कराए जाने को हाईकोर्ट में चुनौती दी गई है। नागरिक उपभोक्ता मार्गदर्शक मंच गाडरवारा के कार्यकारी अध्यक्ष मनीष शर्मा व अन्य के द्वारा दायर याचिका में कार्यकाल बीतने के साढ़े 4 साल बाद भी चुनाव न कराए जाने को चुनौती देते हुए जनहित याचिका दायर की गई है। इस जनहित याचिका में कहा गया है कि साल 2018 में मंडी समितियों का कार्यकाल खत्म हो चुका है और विशेष हालातों में सिर्फ साढ़े 3 साल तक ही कार्यकाल को बढ़ाया जा सकता है लेकिन साढ़े 4 साल का वक्त बीतने के बाद भी चुनाव नहीं कराए जा रहे हैं जो मतदाताओं के मूलभूत अधिकारों का उल्लंघन है।
मध्यप्रदेश हाईकोर्ट ने याचिका की सुनवाई करते हुए राज्य सरकार, चुनाव आयोग और मंडी बोर्ड को नोटिस जारी करते हुए 4 हफ्तों में जवाब पेश करने के निर्देश दिए हैं। याचिका पर हुई सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता के अधिवक्ताओं ने अपनी ओर से अनेक दलीलें पेश किए और मंडी समितियों के चुनाव न होने की स्थिति में मंडी समितियों और किसानों के हितों के प्रभावित होने की दलीलें दीं।
बता दें कि प्रदेश में मंडी पदाधिकारियों का कार्यकाल साल2017-18 में खत्म हो चुका है। उसके बाद कोरोना के चलते चुनाव कराने की ओर सरकार का ध्यान ही नहीं गया। इससे पूर्व नगरीय निकाय चुनाव कराने के लिए भी अदालत का दरवाजा खटखटाया गया था। उम्मीद की जा रही है कि अदालत के आदेश पर जल्द मंडी चुनाव होने की संभावना है।