जबलपुर में कास्ट सर्टिफिकेट न बनने से नाराज युवक का बीजेपी दफ्तर के सामने धरना, बोला 4 साल से भटका रहे अधिकारी

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Rajeev Upadhyay
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जबलपुर में कास्ट सर्टिफिकेट न बनने से नाराज युवक का बीजेपी दफ्तर के सामने धरना, बोला 4 साल से भटका रहे अधिकारी

Jabalpur. मझौली दर्शनी से आए एक युवक ने जबलपुर पहुंचकर भारतीय जनता पार्टी के संभागीय कार्यालय में भूख हड़ताल कर धरना दे दिया। रानीताल स्थित भाजपा के संभागीय कार्यालय में युवक द्वारा दरअसल, इसलिए प्रदर्शन किया गया क्योंकि उसका 4 साल से जाति प्रमाण पत्र नहीं बना। वह सरकारी कार्यालयों के चक्कर काट रहा है, लेकिन अधिकारियों द्वारा हर बार टहला दिया जाता हैं। सरकारी कार्यालयों की भटकाव से परेशान होकर युवक ने भाजपा के कार्यालय के सामने बकायदा अपने गमछे में लाल पेन से भूख हड़ताल लिखकर धरना देकर अपनी बात रखी। 



जाति प्रमाण पत्र न बनने से व्यथित युवक ने बताया कि वह मझौली के दर्शनीय गांव से आता है और जबलपुर तहसील अंतर्गत जाति प्रमाण पत्र के लिए भटक रहा है। इसलिए परेशान होकर उसने सोचा कि जिस की सत्ता है शासन में जो पार्टी है उसके कार्यालय के सामने ही धरना दिया जाए तभी उसका जाति प्रमाण पत्र बन पाएगा। मांझी समाज का जाति प्रमाण पत्र बनवाने के लिए युवक ने बताया कि वह 4 साल से संघर्ष कर रहा है, एसडीएम के पास कि वह आवेदन कर चुका है कहीं कोई सुनवाई नहीं हो रही है इसलिए तंग आकर उसने भाजपा कार्यालय के सामने प्रदर्शन करना उचित समझा है।



उधर सिहोरा एसडीएम आशीष पांडे का कहना है कि मांझी समाज में जाति प्रमाण पत्र बनाने कुछ निर्देश जारी हुए हैं कुछ जिलों में बन सकते हैं कुछ में नहीं। इस मामले में जानकारी लेनी होगी तभी कुछ कह सकता हूं।



मांझी समाज के मोती कश्यप लड़ चुके हैं सुरक्षित सीट से चुनाव



उधर इसी मांझी समाज से ताल्लुक रखने वाले पूर्व मंत्री मोती कश्यप अनुसूचित जनजाति की सीट से ही चुनाव लड़ते रहे हैं। यहां तक कि उनकी जाति का विवाद न्यायालय में भी लंबित है। वहीं जबलपुर जिले के मांझी समाज का आम आदमी आज भी अनुसूचित जनजाति में सूचीबद्ध होने को तरस रहा है। 


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