ग्वालियर में 30 घंटे बाद भी बिल्डर पारस जैन और पार्टनर के यहां आयकर विभाग की कार्रवाई जारी, 4 करोड़ मिले,अब खुलेंगे लॉकर

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ग्वालियर में 30 घंटे बाद भी बिल्डर पारस जैन और पार्टनर के यहां आयकर विभाग की कार्रवाई जारी, 4 करोड़  मिले,अब खुलेंगे लॉकर

देव श्रीमाली,GWALIOR. ग्वालियर के जाने-माने बिल्डर और सराफा कारोबारी पारस जैन के ठिकानों पर सोमवार से शुरू हुई  इनकम टैक्स विभाग ने छापामार कार्रवाई तीस घंटे बीत जाने के बाद भी जारी है। जांच में टीम को अब तक 4 करोड़ रुपए नकद मिले हैं, जबकि दो बोरी भरकर दस्तावेज, लेपटॉप और पेन ड्राइव जब्त  किए जा चुके हैं। आईटी की टीम को आधा दर्जन बैंक लॉकर की भी जानकारी मिली है, जिन्हें आज मंगलवार (21 मार्च) को देर शाम तक कानूनी औपचारिकताओं के बाद खोला जा सकता है।  ग्वालियर के सबसे महंगे कैटरर्स बंटी कैटरर्स के ठिकानों पर भी दबिश दी गई है।





सुबह 4 बजे खटखटाया घर का दरवाजा





इनकम टैक्स के 30 से ज्यादा अधिकारी-कर्मचारी 15 कार में सवार होकर इंदौर से सोमवार तड़के ग्वालियर पहुंचे थे और एक दर्जन से ज्यादा टीमों ने रविवार-सोमवार की दरमियानी रात 3 बजे पारस जैन के मुरार सदर बाजार स्थित दुकान, पुश्तैनी मकान, चेतकपुरी और गोला का मंदिर में उनके घर सहित आधा दर्जन प्रोजेक्ट साइट्स की घेराबंदी की। इसके बाद तड़के 4 बजे अफसरों ने पारस जैन के घर की डोर बेल बजाई और बताया कि आपके ठिकानों पर इनकम टैक्स की रेड पड़ी है। सभी लोग अपने मोबाइल जमा कर दें। टीम ने मुरार स्थित पारस ज्वैलर्स शोरूम से भी दस्तावेज जब्त किए हैं।







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  • बड़े कारोबारियों में शुमार है पारस





    पारस जैन का नाम बड़े कारोबारियों में शामिल है। वह मध्यप्रदेश चेंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्रीज में भी पदाधिकारी रह चुके हैं। सराफा का कारोबार उनके परिवार का  पुश्तैनी काम है। लेकिन पारस ने पिछले कुछ साल में बिल्डर के रूप में भी अपनी पहचान बनाई है। उन्होंने सबसे ज्यादा पैसा जमीन और कंस्ट्रक्शन के कारोबार से ही बनाया है। पहले वे मुरार में ही रहते थे लेकिन कुछ वर्षों से वे चेतकपुरी के सामने अपने द्वारा बनाई गई ऑर्किड टॉवर नाम की  एक मल्टी में ही रहने लगे हैं। शहर में ही  उनके 10 से 12 जगह टाउनशिप, मल्टी और अन्य प्रोजेक्ट चल रहे हैं।





    बीजेपी से जुड़ा है परिवार 





    पारस जैन का परिवार बीजेपी से जुड़ा है। पारस के बड़े भाई विष्णु जैन आरएसएस से ताल्लुकात रखते हैं और उसके विभिन्न प्रकल्प और आयोजनों में मदद करते रहते हैं। विहिप के आयोजनों में व्यवस्थापकों में शामिल रहते हैं। पूरे परिवार को बीजेपी के नजदीक माना जाता है। शहर के बहुचर्चित बीजेपी नेता विष्णु मंगल हत्याकांड में भी पारस जैन को भी आरोपी बनाया गया था, हालांकि उसमे वे बेदाग साबित हुए। यही वजह है कि बीजेपी के नेताओं में इस छापे से बेचैनी है क्योंकि इनसे उनका भी लेनदेन चलता रहता है।





    यहां चल रहे हैं प्रोजेक्ट





    इस समय पारस जैन के ग्वालियर बायपास पर तुरारी में टाउनशिप, पुरानी छावनी में तीन प्रोजेक्ट, चेतकपुरी में एक प्रोजेक्ट सहित एक दर्जन स्थानों पर प्रोजेक्ट चल रहे हैं। बेरजा के आगे डरमन पाली में क्रशर खदान होने की भी जानकारी मिली है।





    करोड़ों की प्रॉपर्टी खरीदने बेचने के दस्तावेज मिले





    सूत्रों के अनुसार आयकर के विभिन्न जांच दलों को पारस और उसके अन्य बिजनेस पार्टनर के पास करोड़ों रुपये की ऐसी संपत्ति के दस्तावेज मिले हैं, जिनमें कर चोरी की गई है। 





    छापे में शामिल है 100 लोगों की टीम 





    कल से चल रही छापामार कार्रवाई में 100 आयकर अधिकारी शामिल हैं । जहां पूछताछ रेड चल रही है उसके आसपास के इलाके को एसएएफ के सशस्त्र जवानों ने घेर रखा है। कम्प्यूटर से डाटा निकालने के मुम्बई,दिल्ली,अहमदावाद से सायबर एक्सपर्ट की टीम ग्वालियर पहुंच चुकीं हैं । इस रेड दल का नेतृत्व आयकर विभाग के एडिशनल डायरेक्टर अनूप कुमार जैन कर रहे हैं। टीम ने अब तक हुई कार्रवाई का ब्यौरा देने से इनकार कर दिया है।



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