जबलपुर. जिले के मनमोहन नगर में संभवत: देश का पहला किड्स फ्रेंडली कोविड वैक्सीनेशन (Kids Vaccination Center) बनाया गया है। दो कमरों वाले इस भवन की दीवारों पर कार्टून (Cartoon) कैरेक्टर -टॉम एंड जैरी, छोटा भीम, डोरेमॉन उकेरे गए हैं। इस सेंटर में 2-12 वर्ष के बच्चों को वैक्सीनेशन (Child Vaccinaton) होगा। वैक्सीन की डोज लेने के बाद बच्चे दूसरे कमरे में रखे खिलौने के साथ अपनी प्रतीक्षा का आधा घंटा गुजार सकेंगे। जबलपुर की स्मार्ट सिटी (Jabalpur Smart City) लिमिटेड ने इस वैक्सीनेशन सेंटर को बनाया है।
CM ने ट्वीट कर बधाई दी
वैक्सीनेशन सेंटर को इस तरह डिजाइन किया गया है कि इसमें बच्चों को टीकाकरण के दौरान डर न लगे। वहीं, इसको लेकर सीएम शिवराज ने ट्वीट कर कहा कि azadikaamritmahotsav2021 के अंतर्गत नर्चरिंग नेबरहुड चैलेंज के तहत जबलपुर स्मार्ट सिटी द्वारा देश का पहला 'किड्स फ्रेंडली कोविड वैक्सीनेशन सेंटर' तैयार करने पर हार्दिक बधाई। इस अनूठे और अद्वितीय प्रयास के लिए जबलपुर स्मार्ट सिटी एवं स्वास्थ्य विभाग (Health Minister) का अभिनंदन करता हूं।
#azadikaamritmahotsav2021 के अंतर्गत नर्चरिंग नेबरहुड चैलेंज के तहत जबलपुर स्मार्ट सिटी द्वारा देश का पहला 'किड्स फ्रेंडली कोविड वैक्सीनेशन सेंटर' तैयार करने पर हार्दिक बधाई!
इस अनूठे और अद्वितीय प्रयास के लिए जबलपुर स्मार्ट सिटी एवं स्वास्थ्य विभाग का अभिनंदन करता हूं। pic.twitter.com/qhJdSV7ufS
— Shivraj Singh Chouhan (@ChouhanShivraj) October 13, 2021
जल्द मिल सकती है बच्चों की वैक्सीन
2-18 साल के बच्चों के टीकाकरण के लिए कोवैक्सीन को सब्जेक्ट एक्सपर्ट कमेटी की तरफ से हरी झंडी मिल गई है। कोवैक्सीन बनाने वाली कंपनी भारत बायोटेक के मुताबिक, उन्होंने ट्रायल का जो डेटा कमेटी के सामने पेश किया था, उस पर कमेटी ने सकारात्मक सुझाव दिए हैं। अब इस टीके को भारतीय औषधि महानियंत्रक (DGCI) की मंजूरी का इंतजार है। इससे अनुमति मिलने के बाद भारत में बच्चों के लिए इस वैक्सीन का इस्तेमाल किया जा सकेगा।
जायडस को मिली है मंजूरी
भारत बायोटेक की कोवैक्सीन से पहले जायडस कैडिला (Zydus Cadila) की वैक्सीन जायकोव-डी को बच्चों पर इस्तेमाल की मंजूरी मिली है। इसी साल अक्तूबर के मध्य से बच्चों के लिए बाजार में आ सकती है। इस वजह से अटकलें लगाईं जा रही हैं कि बच्चों को वैक्सीन लगाने से बस एक कदम दूर है भारत। ऐसे स्थिति में बच्चों के लिए दो वैक्सीन उपलब्ध हो सकेगी।