BHOPAL. मध्य प्रदेश के बीजेपी नेताओं के यहां आपत्तिजनक पोस्टर लगाने वाला कांग्रेस समर्थित दल एनएसयूआई नेता 26 अप्रैल को गिरफ्तार कर लिया गया। एनएसयूआई छात्र नेता का नाम रवि परमार है। शिवराज सिंह सरकार में स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री डॉ. प्रभुराम चौधरी की नेमप्लेट पर किसी ने पोस्टर चिपका दिया। इसमें लिखा था- डॉ. बिकाऊ लाल की तबादले की दुकान। इस पर्चे पर मंत्री प्रभुराम चौधरी की कार्टूननुमा तस्वीर भी लगी थी। पोस्टर चस्पा कर एनएसयूआई ने मेडिकल विभाग में हो रहे तबादलों का विरोध जताया था।
2020 में ज्योतिरादित्य सिंधिया 28 कांग्रेस विधायकों को लेकर बीजेपी में शामिल हुए थे, इसमें प्रभुराम भी थे। बताया जा रहा है कि बीजेपी के 3 अन्य नेताओं के यहां भी ऐसे पोस्टर चिपकाए गए थे।
गिरफ्तारी पर लगाए आरोप
कांग्रेस की तरफ से आरोप है कि रवि को गिरफ्तार कर किसी अज्ञात स्थान पर ले जाया गया। इसकी कोई जानकारी नहीं दी जा रही। बीजेपी के बौखलाए मंत्रियों के इशारे पर कार्रवाई की गई। बिना कोई नोटिस दिए हुए गिरफ्तार कर लिया गया। पुलिस इस तरह का बर्ताव कर रही है, जैसे वह कोई दुर्दांत अपराधी हो।
परमार बोले थे- जरूरतमंद परेशान हो रहे, मंत्री मौज उड़ा रहे
एनएसयूआई मेडिकल विंग के संयोजक रवि परमार ने स्वास्थ्य मंत्री प्रभुराम चौधरी पर आरोप लगाते हुए कहा था- स्वास्थ्य विभाग में सभी नियमों को दरकिनार करते हुए लाखों का लेन-देन कर धड़ल्ले से तबादले किए जा रहे हैं। सरकार के इस भ्रष्टाचारी रवैये के कारण जरूरतमंद कर्मचारी परेशान हो रहे हैं। एक ओर स्वास्थ्य मंत्री मौज उड़ा रहे हैं। वहीं, इतनी भीषण गर्मी में पूरे मध्य प्रदेश में संविदा-स्वास्थ्य कर्मचारी अपने नियमितीकरण और अन्य जायज मांगों को लेकर प्रदर्शन और भूख हड़ताल कर रहे हैं।
परमार ने प्रभुराम चौधरी पर निशाना साधते हुए ये भी कहा था कि स्वास्थ्य मंत्री को कोई होश ही नहीं है। हम बीजेपी को चेतावनी देना चाहते हैं कि सत्ता का यह नशा ज्यादा दिन तक नहीं टिकने वाला। 6 महीने बाद राज्य में कांग्रेस की सरकार बनेगी और सबका कच्चा चिट्ठा बाहर आएगा। स्वास्थ्य मंत्री को हम सलाखों के पीछे भिजवाएंगे। चौधरी यदि तबादलों का कारखाना बंद नहीं करते हैं तो प्रदेशभर में चरणबद्ध तरीके से आंदोलन शुरू करेगी।
कांग्रेस ने बताया था पीड़ित की आवाज
प्रभुराम की नेमप्लेट पर लगे पर्चे पर कांग्रेस ने मजे लिए थे। मीडिया विभाग के प्रमुख केके मिश्रा ने कहा था कि ये तो सिर्फ एक मंत्री के यहां चिपका पर्चा। पूरा वल्लभ भवन ही तबादले की दुकान और भ्रष्टाचार का अड्डा बना हुआ है। बीजेपी सरकार में सिर्फ भ्रष्टचार और लेन-देन कर तबादले ही हो रहे हैं। कांग्रेस तो हमेशा से ये सवाल उठाती रही है। पर्चा जिसने भी चिपकाया है वो कोई पीड़ित ही होगा, जिससे पैसे भी ले लिए होंगे और तबादला भी नहीं किया होगा। ये तो आमजन की आवाज है। अभी तो देखिए आगे-आगे होता है क्या।