ग्वालियर में नर्सिंग ऑफिसर ने CM को भेजी चिट्ठी, लिखा मुझे प्रताड़ित किया जा रहा, पुलिस भी नहीं सुन रही, इच्छा मृत्यु मंजूर कर दें

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BP Shrivastava
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ग्वालियर में नर्सिंग ऑफिसर ने CM को भेजी चिट्ठी, लिखा मुझे प्रताड़ित किया जा रहा, पुलिस भी नहीं सुन रही, इच्छा मृत्यु मंजूर कर दें

देव श्रीमाली, GWALIOR. उत्तरी एमपी और पड़ोसी राजस्थान और यूपी के सीमावर्ती जिलों  के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल जेएएच में पदस्थ एक नर्स ने मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को पत्र लिखकर अपनी बेटी के साथ इच्छा मृत्यु के लिए अनुमति मांगी है। नर्स का आरोप है कि गजराराजा मेडिकल कॉलेज के डीन और जयारोग्य अस्पताल के अधीक्षक की प्रताड़ना से तंग आकर वह यह कदम उठाने को मजबूर हैं। पीड़ित नर्स ने सीएम से 15 दिन के अंदर इच्छा मृत्यु की अनुमति देने या उक्त अधिकारियों को हटाने की मांग की है। इसके साथ ही पीड़िता कंपू थाने भी शिकायत दर्ज कराने पहुंची।



क्या है पूरा मामला 



इंदौर की रहने वाली पूनम सरनकर वर्तमान में ग्वालियर स्थित जयारोग्य चिकित्सालय में बतौर नर्सिंग ऑफिसर के रूप में  पदस्थ हैं। पूनम ने 5 अप्रैल को मुख्यमंत्री को एक पत्र लिखा है, जिसमें उसने अपनी बेटी के साथ इच्छा मृत्यु के लिए अनुमति दिए जाने की मांग की है। पूनम का आरोप है कि उसे छह माह से वेतन नहीं मिला है। ऐसे में परिवार का भरण-पोषण करना मुश्किल हो गया है। पूनम ग्वालियर में बेटी और माता-पिता के साथ किराए के मकान में रहती हैं, जबकि उनका पति इंदौर में छोटा-मोटा कारोबार कर अपना गुजारा करते हैं। नर्स पूनम का यह भी आरोप है कि जयारोग्य अस्पताल के अधीक्षक डॉ. आर.के.एस धाकड़ मेरी सैलरी नहीं निकाल रहे हैं और गजराराजा मेडिकल कॉलेज के डीन डॉ. अक्षय निगम ने उनके साथ अभद्रता की है।



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डीन पर ये लगाया प्रताड़ना का आरोप



पूनम ने पहले ये आरोप लगाया था कि डीन ने एक युवक को भेजकर उसे  मैसेज भेजा था कि रात को आठ बजे के बाद आकर मिल लो। आपकी पूरी सैलरी दिलवा देंगे। इतना ही नहीं, जब पीड़ित नर्स ने दोनों अधिकारियों की शिकायत की तो उसे लगातार नोटिस दिए जा रहे हैं। उस पर मानहानि का दावा करने की धमकी दी जा रही है। साथ ही उसकी शिकायत पुलिस से की है, जिसको लेकर वो अब थाने के चक्कर लगा रही हैं। इसी से परेशान होकर नर्स पूनम सरनकर ने सीएम शिवराज सिंह चौहान को पत्र लिखकर, उसे बेटी के साथ इच्छा मृत्यु दिए जाने की मांग की है। साथ ही 15 दिन में उसे इच्छा मृत्यु के लिए अनुमति देने या फिर दोनों वरिष्ठ अधिकारियों को हटाने की मांग की है। 



थाने पहुंची महिला बोली कोई नहीं सुन रहा



कंपू थाने पहुंची पीड़िता पूनम का कहना है कि उसकी कोई सुनवाई नहीं की जा रही है। इस मामले में जब पुलिस अधिकारियों से बात की गई तो उन्होंने फिलहाल पूरे मामले से अनभिज्ञता जाहिर की है। सीएसपी रवि भदौरिया का कहना है कि जो भी शिकायत होगी पुलिस उस पर उचित कार्रवाई करेगी।


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