Jabalpur. जबलपुर के चेरीताल इलाके में स्थित शराब दुकान से लगी बस्ती की महिलाओं ने शराब दुकान के खिलाफ अभियान छेड़ रखा था, महिलाएं अहाते बंद कर शराब दुकान चालू रखने की प्रदेश सरकार की नीति का विरोध कर रही थीं। जिसके चलते उन्हें पुलिस की बर्बरता का सामना करना पड़ा। प्रदर्शन कर रही महिलाओं को पहले तो पुलिस ने समझाने का प्रयास किया लेकिन जब वे नहीं मानीं तो उन पर बलप्रयोग किया गया। महिलाओं का आरोप है कि पुलिस ने उन्हें बाल पकड़-पकड़कर घसीटा, बुजुर्ग महिलाओं तक को नहीं छोड़ा गया।
अहाता बंद करने का भी विरोध
प्रदर्शनकारियों में शामिल ज्ञान बाई ने बताया कि हम कोई अवैध मांग तो कर नहीं रहे थे, यह सरकार प्रदेश की महिलाओं को हजार रुपए महीना की लालच देकर खरीदना चाहती है क्या? सरकार ने अहाते बंद कर दिए अब घर-घर अहाते खुल गए हैं। ऐसे में हम महिलाओं के साथ-साथ बच्चों के भविष्य पर भी संकट खड़ा हो गया है।
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महापौर भी पहुंचे धरना स्थल
महिलाओं पर पुलिस द्वारा किए गए बलप्रयोग की खबर सुनते ही महापौर जगतबहादुर अन्नू भी मौके पर पहुंच गए और उन्होंने पुलिस की कार्रवाई की निंदा की। महापौर ने चेतावनी दी है कि इस कार्रवाई के खिलाफ कांग्रेस सड़कों पर उतरेगी। प्रदेश सरकार की नई शराब नीति में काफी खामियां हैं और यह बात कांग्रेस पुरजोर ढंग से उठाएगी।
अहाते बंद किए जाने के साइड-इफेक्ट
दरअसल 1 अप्रैल से नई शराब नीति के तहत सभी शराब दुकानों से लगे अहाते बंद कर दिए गए हैं। सार्वजनिक स्थलों पर शराबखोरी पकड़े जाने पर पुलिस को सख्त कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए हैं। ऐसे में पियक्कड़ शराब लेकर अपने घर पर ही शराब पी रहे हैं, जिससे आम गृहणियां काफी परेशान हैं। सरकार की इस नीति का पहला असर जबलपुर में दिखाई दे गया है आने वाले वक्त में और भी जिलों में ऐसे प्रदर्शन होने की संभावना है।