PK ने कांग्रेस का ऑफर ठुकराया, बोले- पार्टी को अच्छे नेतृत्व और बदलाव की जरूरत

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Shivasheesh Tiwari
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PK ने कांग्रेस का ऑफर ठुकराया, बोले- पार्टी को अच्छे नेतृत्व और बदलाव की जरूरत

Delhi. राजनीतिक सलाहकार प्रशांत किशोर ने कांग्रेस को बड़ा झटका दे दिया है। पिछले कई दिनों से अटकलें लगाई जा रही थीं कि प्रशांत किशोर कांग्रेस में शामिल हो सकते हैं। लेकिन अब तमाम अटकलों को निराधार करते हुए रणदीप सुरजेवाला ने ट्वीट किया है कि PK ने कांग्रेस का ऑफर ठुकरा दिया है। बता दें कि पिछले कुछ दिनों से चर्चा चल रही थी कि प्रशांत किशोर कांग्रेस में महासचिव का पद संभाल सकते हैं। इसको लेकर अटकलें तब से शुरू हुई थीं, जब उन्होंने 18 घंटों की प्रजेंटेशन पार्टी आलाकमान के सामने दी थी। चर्चा थी कि पार्टी PK की स्ट्रेटजी के हिसाब से ही 2024 का चुनाव लड़ने की तैयारी कर रही थी।  




— Randeep Singh Surjewala (@rssurjewala) April 26, 2022

प्रशांत किशोर ने ये कहा 



पीके ने ट्वीट कर कहा- 'मैंने EAG के रूप में पार्टी में शामिल होने और चुनावों की जिम्मेदारी लेने के कांग्रेस के उदार प्रस्ताव को अस्वीकार कर दिया। मेरी विनम्र राय में, परिवर्तनकारी सुधारों के माध्यम से गहरी जड़ें जमाने वाली संरचनात्मक समस्याओं को ठीक करने के लिए पार्टी को मुझसे अधिक नेतृत्व और सामूहिक इच्छाशक्ति की आवश्यकता है।'




— Prashant Kishor (@PrashantKishor) April 26, 2022



कांग्रेस के नेताओं में थी आशंका 



रणदीप सुरजेवाला ने ट्वीट कर बताया कि प्रशांत किशोर ने स्वयं कांग्रेस में शामिल होने से इनकार कर दिया है। मालूम हो कि कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने प्रशांत किशोर को कांग्रेस में शामिल करने और उनके 2024 के लिए मिशन के प्रस्तावित विजन को आगे बढ़ाने पर विचार करने के लिए समिति का गठन किया था। इस 13 सदस्यीय समिति ने अपनी रिपोर्ट कांग्रेस अध्यक्ष को सौंप दी थी। कांग्रेस नेताओं की 25 अप्रैल को इस बाबत बैठक भी हुई थी। कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी समेत कई नेता प्रशांत किशोर को कांग्रेस में लाए जाने के पक्ष में थे, लेकिन दिग्विजय सिंह समेत तमाम नेताओं ने इसको लेकर अपनी आशंकाएं जाहिर की थीं। 



इसलिए बिगड़ी बात



सूत्रों का कहना है कि प्रशांत किशोर और कांग्रेस के बीच बात बनने के बीच कई अवरोध थे, लेकिन टीआरएस का आईपीएसी के साथ दो दिन पहले हुआ समझौता फ्लैश प्वाइंट बना। प्रशांत किशोर चाहते थे कि वो सीधे कांग्रेस नेतृत्व को रिपोर्ट करें। प्रशांत किशोर कहते रहे हैं कि उनका आईपीएसी से कोई लेना-देना नहीं है, लेकिन यह सर्वविदित है कि उनका इस संगठन में स्पष्ट प्रभाव है। टीआरएस और आईपीएसी के बीच गठजोड़ के पहले प्रशांत किशोर दो दिन हैदराबाद में तेलंगाना सरकार की आवभगत में थे। 


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