NEW DELHI. दिल्ली के जंतर-मंतर पर 12 दिन से जारी पहलवानों के धरने में 3 मई की आधी रात हंगामा हो गया। पहलवानों ने मारपीट का भी आरोप लगाया है। इस घटना में एक पहलवान के चोटिल होने की भी खबर है। घटना के बाद दिल्ली महिला आयोग की प्रमुख स्वाति मालीवाल, दिल्ली सरकार में मंत्री सौरभ भारद्वाज, विधायक कुलदीप समेत कई नेता जंतर-मंतर पहुंचे, जिन्हें दिल्ली पुलिस ने हिरासत में ले लिया।
ये था मामला
हंगामे की शुरुआत तब हुई जब पहलवानों के जंतर-मंतर पर चल रहे धरने में सोमनाथ भारती फोल्डिंग बेड लेकर पहुंचे। सोमनाथ भारती ने इसके लिए अनुमति नहीं ली थी। दिल्ली पुलिस ने इस पर उन्हें रोका। पुलिसकर्मियों की तरफ से रोके जाने के बाद वहां मौजूद सोमनाथ भारती के समर्थक नाराज हो गए और ट्रक से बेड निकालने की कोशिश करने लगे।
इस दौरान पुलिस और सोमनाथ भारती के समर्थकों, पहलवानों में तीखी नोक-झोंक हुई। दिल्ली पुलिस ने दो अन्य लोगों के साथ सोमनाथ भारती को हिरासत में ले लिया। इसे लेकर पहलवानों का कहना है कि जहां प्रदर्शन कर रहे हैं, वहां पानी भरा है। सोने की जगह नहीं है। धर्मेंद्र (एक पुलिसकर्मी) धक्के मारने लगा। दूसरा पुलिस वाला ड्रिंक कर रहा था। क्या ये दिन देखने के लिए मेडल लेकर आए थे?
#WATCH | "Somnath Bharti brought folding beds to the protest site in Jantar Mantar. Since there was no permission, we didn't allow it, so some of the supporters of the protesting wrestlers tried to take out the beds from the truck and this led to an altercation...": DCP Pranav… pic.twitter.com/dWwRTFSDHZ
— ANI (@ANI) May 3, 2023
कांग्रेस का ट्वीट- मोदी जी, खिलाड़ियों के साथ अन्याय क्यों?
ये हमारे देश की बेटियां हैं, जिन्होंने देश का मान रखा. हमें कई मेडल लाकर दिए.
आज इनके साथ गृह मंत्री अमित शाह की पुलिस बदसलूकी कर रही है.
इनका गुनाह बस इतना है कि ये शोषण के खिलाफ आवाज़ उठा रही हैं.@narendramodi जी, आप ऐसा अन्याय क्यों कर रहे हैं? pic.twitter.com/YwShIbZLsM
— Congress (@INCIndia) May 3, 2023
पहलवानों ने शाह को चिट्ठी लिखी
बजरंग पुनिया, साक्षी मलिक और विनेश फोगाट ने 3 मई की रात में उनके साथ हुई कथित मारपीट के बाद केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह को चिठ्ठी लिखी। उन्होंने लैटर में लिखा कि हम ओलंपियन दिल्ली के जंतर-मंतर पर 11 दिनों से अपनी मांगों को लेकर शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे हैं। 3 मई की रात लगभग 11 बजे जब हम अपने रात्रि विश्राम की व्यवस्था कर रहे थे तो दिल्ली पुलिस के एसीपी धर्मेंद्र ने 100 पुलिस वालों के साथ हम पर हमला कर दिया। इस हमले में दुष्यंत फोगाट और राहुल यादव के सिर फोड़े गए।
चिट्ठी में ये भी लिखा है- विनेश फोगाट के साथ पुलिस अधिकारी ने गाली-गलौज की। इसके साथ ही साक्षी मलिक और संगीता फोगाट के साथ के साथ पुरुष पुलिसकर्मियों ने धक्का-मुक्की की। अंतरराष्ट्रीय पहलवानों पर इस तरह से हमला करना और अपमानित करना खिलाड़ियों का मनोबल तोड़ने और देश की छवि को खराब करने वाला है.
चिट्ठी में की गई ये मांगें?
1. घटना के जिम्मेदार अधिकारियों पर तुरंत कठोर कार्रवाई हो।
2. धरनास्थल पर हमारी न्यूनतम जरूरत की चीजें जैसे वॉटरप्रूफ टेंट, मजबूत स्टेज, पलंग, साउंड सिस्टम, गद्दे और प्रैक्टिस के लिए कुश्ती मैट और जिम का सामान लाने की अनुमति दें।
3. अलग-जगहों से हिरासत में लिए गए हमारे सभी साथियों को तुरंत रिहा किया जाए।
4. सरकार के उच्च अधिकारियों से हमारी मांगों के संबंध में जल्द बातचीत कराई जाए।
प्रेस कॉन्फ्रेंस में पहलवान बोले- हमारे मेडल ले लो
जंतर-मंतर पर देर रात हुए बवाल के बाद पहलवानों ने 4 मई को प्रेस कॉन्फ्रेंस की। पहलवानों ने कहा कि लड़ाई सरकार या विपक्ष से नहीं, बृजभूषण शरण सिंह से है। प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान पहलवानों के साथ दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालीवाल भी मौजूद रहीं। बजरंग पुनिया ने कहा कि अगर खिलाड़ियों की सुनवाई नहीं हो सकती और उन्हें न्याय नहीं मिल सकता तो सरकार उनके मेडल और पुरस्कार वापस ले ले। हम सरकार को अपना मेडल वापस कर देंगे। ऐसे मेडल का हम क्या करेंगे। इस आंदोलन को जानबूझकर राजनीति से जोड़ने की कोशिश की जा रही है। हमारा आंदोलन न्याय के लिए हैं और इसमें सभी का समर्थन मिल रहा है। हमारे पास तो कल (3 मई को) पीटी उषा भी आई थीं। जब से एफआईआर दर्ज हुई हैं, तब से ही हम लोगों को गाली दी जा रही है। इसे राजनीतिक और जाति से जोड़कर हमें कमजोर करने की कोशिश की जा रही है।
विनेश फोगाट ने कहा, मुझे गाली दी गई, पुलिस का व्यवहार हमले वाला था। हमने बेड मंगवाया था, रात में ही पुलिस को शिकायत दे दी। पुलिस वाला ड्रिंक कर रहा था। नशे में था। हम अपना मेडल वापस करने को तैयार हैं। मैं मेडल के साथ जान भी दे दूंगी।